रणवीर इलाहाबादिया केस को लेकर महाराष्ट्र ने सरकार जांच के आदेश दे दिए हैं. इससे पहले शुक्रवार को रणवीर ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है और अपने तमाम केस को इकट्ठा करने की अपील. सुप्रीम कोर्ट में रणवीर का केस पूर्व चीफ जस्टिस के बेटे अभिवन चंद्रचूड़ लड़ रहे हैं.
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Who is Abhinav Chandrachud: यूट्यूबर और पॉडकास्टर रणवीर इलाहाबादिया ने 'इंडियाज गॉट लेटेंट' शो में अपनी मौजूदगी के दौरान अपनी विवादास्पद टिप्पणियों को लेकर भारत भर में उनके खिलाफ दर्ज कई FIR को एक साथ जोड़ने की मांग करते हुए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. शुक्रवार को चीफ जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस संजय कुमार की बेंच के समक्ष अल्लाहबादिया की याचिका का उल्लेख किया गया. सुप्रीम कोर्ट में रणवीर का मुकदमा भारत के पूर्व चीफ जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ के बेटे और सीनियर वकील अभिनव चंद्रचूड़ ने लड़ रहे हैं.
सुनवाई के दौरान चंद्रचूड़ ने अदालत से याचिका को तत्काल सूचीबद्ध करने की अपील की, जिसमें असम पुलिस के ज़रिए जारी एक समन का हवाला भी दिया गया. जिसमें रणवीर को उसी दिन जांच के लिए पेश होने के लिए कहा गया था. हालांकि चीफ जस्टिस खन्ना ने जवाब दिया कि अदालत तत्काल सुनवाई के लिए मौखिक उल्लेख की अनुमति नहीं देती है.
इसके अलावा महाराष्ट्र सरकार ने शुक्रवार को रणवीर इलाहाबादिया विवाद की जांच के आदेश दिए, खास तौर पर सांस्कृतिक विभाग के अधिकारियों को जांच का काम सौंपा. मंत्री आशीष शेलार की अध्यक्षता में विभाग ने रणवीर अल्लाहबादिया विवाद की जांच के आदेश दिए. यह कदम 'इंडियाज गॉट लेटेंट" और इसी तरह के अन्य शो में अश्लीलता के बारे में शिकायतें दर्ज किए जाने के बाद उठाया गया है, जो उचित अनुमति के बिना चल रहे हैं.
मंत्री कार्यालय के मुताबिक शो इंडियाज गॉट लेटेंट में अश्लीलता के बारे में विभाग को शिकायतें मिली थीं और इस तरह के अन्य शो बिना उचित अनुमति के दर्शकों को टिकट देकर चलाए जा रहे हैं. मंत्री आशीष शेलार की अध्यक्षता में विभाग में एक मीटिंग बुलाई गई और उन्होंने मीटिंग के बाद विस्तृत जांच के आदेश दिए हैं.
अभिनव चंद्रचूड़ बॉम्बे हाई कोर्ट में प्रैक्टिस करने वाले एक मशहूर वकील हैं. उन्होंने स्टैनफोर्ड लॉ स्कूल से डॉक्टर ऑफ द साइंस ऑफ लॉ (JSD) और मास्टर ऑफ द साइंस ऑफ लॉ (JSM) की डिग्री हासिल की है, जहां वे फ्रैंकलिन फैमिली स्कॉलर थे. अपनी कानूनी प्रैक्टिस के अलावा चंद्रचूड़ ने संवैधानिक कानून, न्यायिक प्रक्रियाओं और भारत में कानूनी इतिहास पर कई किताबें भी लिखी हैं. कानूनी मामलों में उनकी विशेषज्ञता ने उन्हें कानूनी बिरादरी में एक मजबूत चेहरा माना जाता है.