Parliament News: सोनिया गांधी के खिलाफ बीजेपी के कई सांसदों ने विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया है. ये नोटिस उनकी राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू पर की गईं टिप्पणियों के खिलाफ है.
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बीजेपी के कुछ सांसदों ने राज्यसभा सांसद सोनिया गांधी के खिलाफ संसदीय विशेषाधिकार, नैतिकता और मर्यादा के उल्लंघन का नोटिस दिया है. दरअसल, यह मामला राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू पर टिप्पणी को लेकर है. भाजपा सांसदों के एक समूह ने सोनिया की टिप्पणी को अपमानजनक माना है और उनके खिलाफ कार्रवाई की मांग की है. भाजपा सांसदों ने निर्दलीय सांसद और कांग्रेस समर्थक पप्पू यादव की टिप्पणी के खिलाफ भी नोटिस दिया है.
इस नोटिस पर कांग्रेस सांसद रंजीत रंजन ने कहा, 'सदन में जो कुछ भी हो रहा है, वह कभी भी इसकी संस्कृति नहीं रही है. भाजपा को अटल बिहारी वाजपेयी, जवाहरलाल नेहरू, इंदिरा गांधी, राजीव गांधी और मनमोहन सिंह से सीखना चाहिए कि कैसे उन्होंने अपने लिए इस्तेमाल किए गए अपमानजनक शब्दों को भी हंसी में उड़ा दिया था... जहां तक विशेषाधिकार प्रस्ताव का सवाल है, मैं स्पष्ट करना चाहती हूं कि हम डरने वाले नहीं हैं.'
नोटिस से पहले भाजपा के वरिष्ठ नेता रविशंकर प्रसाद ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू पर कांग्रेस संसदीय दल की प्रमुख सोनिया गांधी की टिप्पणी पर जमकर सुनाया था. उन्होंने कहा कि सर्वोच्च संवैधानिक पद का अपमान करना कांग्रेस की परंपरा और उनके ‘राजनीतिक डीएनए’ में है.
सोनिया ने क्या कहा था?
राज्यसभा की सदस्य सोनिया गांधी ने 31 जनवरी को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के अभिभाषण के बाद कहा था कि ‘बेचारी’ अपने संबोधन के आखिर तक थक गईं थीं और बहुत मुश्किल से बोल पा रही थीं.
रविशंकर प्रसाद ने सोनिया गांधी का नाम लिए बगैर कहा, ‘राष्ट्रपति सर्वोच्च संवैधानिक पद पर हैं और संसद का हिस्सा हैं. हमारा नैतिक दायित्व है कि हम उनका सम्मान करें. राष्ट्रपति जी बहुत ही साधारण परिवार से निकलकर आगे बढ़ीं. पिछले दो वर्षों में वह गरिमा और शालीनता से राष्ट्रपति के पद को नई ऊंचाई दे रही हैं.’ उनके मुताबिक, शायद पहली बार राष्ट्रपति भवन की तरफ से एक विज्ञप्ति जारी कर किसी बयान का खंडन किया गया है.
प्रसाद ने सोनिया गांधी की टिप्पणी का हवाला देते हुए कहा, ‘मैं इस टिप्पणी की भर्त्सना करना चाहता हूं.’ उन्होंने कहा कि प्रथम राष्ट्रपति राजेंद्र प्रसाद के साथ क्या-क्या व्यवहार किया गया था, उसकी जानकारी दस्तावेजों में अंकित है. प्रसाद के अनुसार, फखरूद्दीन अली अहमद और ज्ञानी जैल सिंह जैसे पूर्व राष्ट्रपति के साथ क्या व्यवहार किया गया, सबको पता है. पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा, ‘वर्तमान राष्ट्रपति जी के साथ जो किया गया है वो नई बात नहीं है, ये इनकी (कांग्रेस) परंपरा में है, यह इनका राजनीतिक डीएनए है. राष्ट्रपति का अपमान इनकी आदत और परंपरा है.’
प्रियंका का जवाब
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने एक दिन पहले मुर्मू के बारे में सोनिया गांधी की टिप्पणी का मुद्दा उठाने के लिए पीएम नरेंद्र मोदी की आलोचना की थी. प्रियंका ने कहा, ‘उस दिन मोदी जी ने मेरी मां के बारे में कहा कि उन्होंने राष्ट्रपति का अपमान किया है. उन्होंने किस तरह का मुद्दा उठाया? एक बुजुर्ग महिला दूसरी बुजुर्ग महिला के प्रति अपनी सहानुभूति व्यक्त करते हुए कह रही है कि बेचारी राष्ट्रपति जी थक गई होंगी एक घंटे का भाषण उनको पढ़ना पड़ा.’ कांग्रेस महासचिव ने कहा कि उन्होंने इसे चुनावी मुद्दा बनाने का प्रयास किया और कहा कि यह अपमान है.