AIMPLB on Waqf Bill: संसद के दोनों सदनों में आज वक्फ बिल पेश हो गया है. रिपोर्ट पेश होने के बाद से ही माहौल गरमा गया है. आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है. इस बीच ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने सरकार पर बड़ा हमला बोला है.
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AIMPLB on Waqf Bill: बजट सेशन के पहले चरण के आखिरी दिन संसद में वक्फ संशोधन बिल पर जेपीसी रिपोर्ट पेश करने को लेकर हंगामा हुआ है. राज्यसभा में बीजेपी सांसद मेधा कुलकर्णी ने यह रिपोर्ट पेश की, जबकि लोकसभा में जेपीसी के अध्यक्ष और बीजेपी सांसद जगदंबिका पाल ने यह रिपोर्ट पेश की. वहीं, विपक्ष ने इस रिपोर्ट पर आपत्ति जताई है. इस बीच ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने सरकार पर बड़ा हमला बोला है.
AIMPLB ने कहा कि वक्फ (संशोधन) बिल को धार्मिक भेदभाव पर आधारित और संविधान के मूल्यों के खिलाफ करार दिया और कहा कि सरकार को "सबका साथ, सबका विकास" के अपने नारे पर अमल करते हुए इस विधेयक को वापस लेना चाहिए.
बोर्ड के अध्यक्ष खालिद सैफुल्लाह रहमानी ने कहा कि अगर बिल को पारित किया गया तो राष्ट्रीय स्तर पर आंदोलन शुरू किया जाएगा. मुस्लिम पर्सनल बोर्ड ने यह बयान उस वक्त दिया जब बृहस्पतिवार को वक्फ (संशोधन) विधेयक पर विचार करने वाली संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) की रिपोर्ट को लोकसभा और राज्यसभा के पटल पर रखा गया.
बीजेपी बोल रही है झूठ- ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड
रहमानी ने कहा, "हम समझते हैं कि सरकार के पास अभी मौका है कि वह इस बिल को वापस लेकर सबका साथ, सबका विकास के अपने नारे पर अमल करे. अगर बिल पार्लियामेंट में पारित हुआ तो स्वीकार नहीं करेंगे. वक्फ को लेकर कई तरह का झूठ फैलाया गया है और वक्फ संविधान में निहित अधिकार के तहत है. उन्होंने इल्जाम लगाया कि यह रिपोर्ट धार्मिक भेदभाव पर आधारित है.
रहमानी ने कहा कि जितना अधिकार अन्य धर्मों के लिए हो, उतना मुस्लिम समुदाय का भी होना चाहिए. रहमानी ने आरोप लगाया, "सरकार को सच्चाई से चिढ़ है. झूठ बोलती है और झूठ फैलाती है. उन्होंने कहा कि यह कोई हिंदू मुस्लिम की लड़ाई नहीं है, अल्पसंख्यक बहुसंख्यक की लड़ाई नहीं है, यह इंसाफ की लड़ाई है.
मुसलमानों के खिलाफ साजिश है- मौलाना
उनका यह भी कहना है कि उम्मीद है कि मजलूमों की इस लड़ाई में सभी लोग साथ देंगे. एक समुदाय को नुकसान पहुंचाने और दबाव में रखने के लिए यह समान नागरिक संहिता का राग छेड़ा गया है. हमें यह स्वीकार नहीं है. कानून के दायरे में रहकर हम किसी भी हद तक लड़ाई लड़ेंगे.