Action on noise in Raipur: रायपुर स्कूलों, अस्पतालों और सरकारी भवनों के आसपास कोलाहल प्रतिबंधित क्षेत्र घोषित हुआ है. बता दें कि छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय के अंतरिम आदेश के बाद जिला मजिस्ट्रेट डॉ. सर्वेश्वर भूरे ने 100 मीटर का जोन ऑफ साइलेंस निर्धारित किया है.
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CG Latest News: छत्तीसगढ़ (CG News) की राजधानी रायपुर (Raipur News) में डीजे बजाने और शोर मचाने को लेकर बड़ा फैसला लिया गया है. अब रायपुर में कोलाहल पर होगी कार्रवाई (Action on noise in Raipur). स्कूल, कॉलेज, अस्पताल और सरकारी भवनों के बाहर डीजे बजाना और शोर मचाना प्रतिबंधित किया गया है. रायपुर में ध्वनि प्रतिबंधित क्षेत्र घोषित हुआ है. इसको लेकर कलेक्टर ने आदेश जारी किया. बता दें कि रायपुर जिले में चिन्हांकित क्षेत्रों के 100 मीटर की परिधि को ध्वनि प्रतिबंधित क्षेत्र अर्थात जोन ऑफ साइलेंस घोषित किया गया. जारी निर्देश के मुताबिक, इसके तहत चिन्हित क्षेत्रों में सभी सरकारी और निजी अस्पताल, शैक्षणिक संस्थान, अदालतें, मंत्रालय, निदेशालय और सभी सरकारी कार्यालय शामिल होंगे. इसकी 100 मीटर की परिधि को शोर प्रतिबंधित क्षेत्र घोषित किया गया है. इसका उल्लंघन करने पर कार्रवाई भी होगी...
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शोर पर प्रतिबंध
बता दें कि जिला दंडाधिकारी डॉ. सर्वेश्वर भुरे ने रायपुर जिले के चिन्हित क्षेत्रों के आसपास 100 मीटर की परिधि को जोन ऑफ साइलेंस के रूप में नामित किया है. इसमें सरकारी और गैर-सरकारी अस्पताल, शैक्षणिक संस्थान, जिला और सत्र अदालतें, अन्य अदालतें, मंत्रालय, निदेशालय और सभी सरकारी कार्यालय शामिल हैं. माननीय छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय के एक अंतरिम आदेश के पालन में, ध्वनि नियम 1985 और शोर प्रदूषण नियम 2000 द्वारा दी गई शक्तियों के तहत शोर प्रतिबंध लगाए गए हैं.
उच्च न्यायालय के आदेश का किया जा रहा है पालन
इसमें भारत सरकार और छत्तीसगढ़ सरकार से संबद्ध अस्पताल, शैक्षणिक संस्थान और कार्यालय शामिल हैं. माननीय छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय (High Court of Chhattisgarh) के एक अंतरिम आदेश का पालन करता हुए शैक्षणिक गतिविधियों, बुजुर्गों, दिव्यागों और बीमार व्यक्तियों के स्वास्थ्य, साथ ही सार्वजनिक शांति की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए यह प्रतिबंध कोलाहल नियम 1985 (Noise Rules 1985) और ध्वनि प्रदूषण नियम 2000 (Noise Pollution Rules 2000) द्वारा प्रदत्त अधिकार के तहत लागू किया गया है. कलेक्टर ने सक्षम अधिकारियों को इन नियमों का कड़ाई से पालन सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है.