Qatar's Ameer Sheikh Tamim bin Hamad India Visit: कतर के अमीर शेख तमीम बिन हमद अल-थानी 17 फरवरी और 18 फरवरी को भारत की दो दिवसीय राजकीय यात्रा पर हैं. मंगलवार को दोनों देशों के प्रमुख के बीच बैठक हुई जिसमें भारत और कतर ने 5 वर्षों में व्यापार को दोगुना कर 28 बिलियन अमरीकी डॉलर करने का लक्ष्य और रणनीतिक साझेदारी के स्तर पर संबंधों को बढ़ाने का फैसला किया है.
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Qatars Ameer Sheikh Tamim bin Hamad India Visit: भारत और कतर ने मंगलवार को अगले पांच सालों में बाहिमी कारोबार को दोगुना कर 28 बिलियन अमरीकी डॉलर करने पर रजामंदी जताई है. कतर के अमीर शेख तमीम बिन हमद अल-थानी और प्रधानमंत्री मोदी की मौजूदगी में इस करार पर दस्तखत किये गए. अमीर सोमवार शाम को अपनी दो दिवसीय यात्रा पर दिल्ली पहुंचे थे. उनकी यात्रा मोदी द्वारा फरवरी 2024 में खाड़ी देश की यात्रा के लगभग एक साल बाद हो रही है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को कहा कि कतर के अमीर शेख तमीम बिन हमद अल थानी के साथ उनकी "बहुत ही कामयाब" बैठक हुई. कतर के अमीर को अपना "भाई" बताते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि वार्ता में कारोबार पर प्रमुखता से चर्चा हुई और दोनों मुल्क कारोबारी रिश्तों को बढ़ाना और विविधता लाना चाहते हैं. मोदी ने कहा की हमारे देश ऊर्जा, प्रौद्योगिकी, स्वास्थ्य सेवा, खाद्य प्रसंस्करण, फार्मा और ग्रीन हाइड्रोजन जैसे क्षेत्रों में भी मिलकर हम कतर के साथ काम कर सकते हैं."
करार के बाद विदेश मंत्रालय के सचिव अरुण कुमार चटर्जी ने कहा, " मोदी और कतर के अमीर ने अगले पांच सालों में द्विपक्षीय कारोबार को मौजूदा 14 बिलियन अमेरिकी डॉलर से दोगुना करके 28 बिलियन अमेरिकी डॉलर करने का लक्ष्य भी तय किया है. इसमें बुनियादी ढांचा, बंदरगाह, जहाज निर्माण, नवीकरणीय ऊर्जा सहित ऊर्जा, स्मार्ट शहर, फूड पार्क, स्टार्ट-अप और कृत्रिम बुद्धिमत्ता, रोबोटिक्स और मशीन लर्निंग जैसी नई तकनीकें शामिल हैं." पिछले साल, मोदी की कतर यात्रा के दौरान, भारत ने खाड़ी मुल्कों से एलएनजी आयात को 2048 तक 20 साल तक बढ़ाने के लिए 78 बिलियन अमेरिकी डॉलर के सौदे पर दस्तखत किए थे, जो उस वक़्त की कीमतों से कम दरों पर था.
कतर ने आतंकवाद के खतरे से निपटने में सहयोग करने पर सहमति जताई
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और कतर के अमीर शेख तमीम बिन हमद अल-थानी ने सीमा पार आतंकवाद की निंदा की. दोनों नेताओं ने द्विपक्षीय और बहुपक्षीय तंत्रों के जरिये इस खतरे से निपटने में सहयोग करने पर रजामंदी जताई. एक संयुक्त बयान में, भारत और कतर ने "अंतर्राष्ट्रीय विवादों के शांतिपूर्ण समाधान के लिए बातचीत, कूटनीति के महत्व" पर जोर दिया. संयुक्त बयान में कहा गया कि नेताओं ने सूचना और खुफिया जानकारी साझा करने, अनुभवों, सर्वोत्तम प्रथाओं और प्रौद्योगिकियों के विकास और आदान-प्रदान, क्षमता निर्माण और "कानून प्रवर्तन, धन शोधन विरोधी, मादक पदार्थों की तस्करी, साइबर अपराध और अन्य अंतरराष्ट्रीय अपराधों में सहयोग को मजबूत करने" में सहयोग बढ़ाने पर भी रजामंदी जताई गई.