CERT-in ने Google Chrome वेब ब्राउजर को लेकर एक ‘हाई’ रिस्क वाली चेतावनी जारी की है. क्रोम ब्राउजर के कुछ वर्जन में कई गंभीर सुरक्षा खामियां पाई गई हैं. हैकर्स अगर इन खामियों का फायदा उठाते हैं, तो वे आपके डिवाइस पर मनचाहे कोड को चला सकते हैं.
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भारत की कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पोंस टीम (CERT-in) ने Google Chrome वेब ब्राउजर को लेकर एक ‘हाई’ रिस्क वाली चेतावनी जारी की है. उनकी रिपोर्ट के अनुसार, क्रोम ब्राउजर के कुछ वर्जन में कई गंभीर सुरक्षा खामियां पाई गई हैं. हैकर्स अगर इन खामियों का फायदा उठाते हैं, तो वे आपके डिवाइस पर मनचाहे कोड को चला सकते हैं, जिससे आपकी जानकारी चुराई जा सकती है, डिवाइस काम करना बंद कर सकता है या उसकी सुरक्षा कमजोर हो सकती है. इन खामियों का प्रभाव बहुत गंभीर है, क्योंकि हैकर्स आपके सिस्टम में मौजूद जरूरी डेटा, जैसे कि आपके लॉगिन पासवर्ड और बैंकिंग जानकारी चुरा सकते हैं.
कौन-कौन से वर्जन हुए अफैक्ट
Google Chrome versions prior to 123.0.6312.122/.123 for Windows
Google Chrome versions prior to 123.0.6312.122/.123/.124 for Mac
Google Chrome versions prior to 123.0.6312.122 for Linux
Google Chrome में कौन सी कमजोरियां पाई गईं
CVE-2024-3515
CVE-2024-3516
CVE-2024-3157
ये कमजोरियां Google Chrome ब्राउजर में कई जगहों से आती हैं, जैसे कि 'कम्पोजिटिंग में दायरे से बाहर लिखना' (बाहर का डाटा अंदर डालना), 'ANGLE में हीप बफर ओवरफ्लो' (ज्यादा डाटा भरने से दिक्कत होना), और 'डॉन में फ्री होने के बाद इस्तेमाल' (खाली हो चुके डाटा को इस्तेमाल करने की कोशिश). कोई दूर का हमलावर खास तरह की बनावटी मांग भेजकर इन कमजोरियों का फायदा उठा सकता है. अगर हमलावर कामयाब हो जाता है, तो वो आपके कंप्यूटर को पूरी तरह बंद कर सकता है या उस पर मनचाहे कार्य कर सकता है.
कैसे करें अपडेट?
- Google Chrome खोलें.
- ऊपर दाएं कोने पर तीन डॉट्स (बिन्दु) दिखाई देंगे, उसे क्लिक करें.
- खुलने वाले मेन्यू में "हेल्प" चुनें.
- फिर नीचे आने वाले सबमेन्यू में "Google Chrome के बारे में" को दबाएं.
- Google Chrome खुद ही अपडेट ढूंढेगा और अगर कोई नया अपडेट मौजूद है तो उसे लगाना शुरू कर देगा.
- अपडेट लगने के बाद, "फिर से लॉन्च करें" बटन दबाकर Google Chrome को नए वर्जन के साथ दोबारा चालू करें.