Union Budget 2025: भारतीय रेलवे आधुनिकीकरण की दिशा में तेजी से काम कर रहा है. कई रूट पर नई ट्रेनों का संचालन किया जा रहा है. इसके अलावा पुरानी ट्रेनों को भी नया रूप दिया जा रहा है. रेलवे स्टेशन का भी पहले के मुकाबले कायाकल्प किया जा रहा है.
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Indian Railways Budget: संसद का बजट सत्र 31 जनवरी से शुरू होने जा रहा है. इसके अगले दिन 1 फरवरी को बजट पेश किया जाएगा. बजट पर किसानों से लेकर नौकरीपेशा तक की नजर रहेगी. बजट में सरकार की तरफ से किये जाने वाले ऐलान का असर आम से लेकर खास तक पर पड़ेगा. इस बार के बजट में हर वर्ग की उम्मीद के साथ ही भारतीय रेलवे को कई नई सौगात मिलने की उम्मीद की जा रही है. जानकारों को उम्मीद है कि इस बार के बजट में 10 नई वंदे भारत स्लीपर ट्रेने और 100 अमृत भारत एक्सप्रेस ट्रेन का संचालन करने की घोषणा की जा सकती है.
रेलवे स्टेशनों का पहले के मुकाबले कायाकल्प किया जा रहा
भारतीय रेलवे आधुनिकीकरण की दिशा में तेजी से काम कर रहा है. कई रूट पर नई ट्रेनों का संचालन किया जा रहा है. इसके अलावा पुरानी ट्रेनों को भी नया रूप दिया जा रहा है. रेलवे स्टेशन का भी पहले के मुकाबले कायाकल्प किया जा रहा है. ऐसे में उम्मीद की जा रही है कि सरकार इस बार रेलवे पर और ज्यादा पैसा खर्च करेगी. सरकार का फोकस तेजी से मॉडर्न रेलवे स्टेशन बनाए जाने को लेकर है. उम्मीद की जा रही है कि इस बार रेलवे बजट में जुलाई 2024 के मुकाबले 20 प्रतिशत तक का इजाफा किया जा सकता है.
3.50 लाख करोड़ रुपये तक का हो सकता है ऐलान
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार वित्त वर्ष 2025-26 में सरकार की तरफ से 3.50 लाख करोड़ रुपये तक का ऐलान किया जा सकता है. जुलाई 2024 में पेश किये गए आम बजट में रेलवे के लिये 2.65 लाख करोड़ रुपये की घोषणा की गई थी. इसमें से रेलवे की तरफ से 80 प्रतिशत राशि को खर्च किया जा चुका है. बाकी बची राशि को 31 मार्च तक खर्च किये जाने का अनुमान है. इस बार के बजट में सरकार ऐसी योजनाओं पर फोकस कर सकती है, जिनका सीधा फायदा आम आदमी को मिले.
इस बार के रेलवे बजट में क्या होगा?
भारतीय रेलवे अपने नेटवर्क को आधुनिक बनाने, तेज ट्रेनें चलाने और यात्रा को सुरक्षित बनाने के लिए नए रेलवे ट्रैक बिछाने के लिए बजटीय आवंटन में बढ़ोतरी की तैयारी कर रही है. लाइव मिंट की रिपोर्ट के अनुसार वित्त वर्ष 26 में नए ट्रैक के लिए आवंटन को बढ़ाकर 50,000 करोड़ रुपये से ज्यादा करने का प्लान है. ज्यादा पैसा आवंटित करने से रेलवे नेटवर्क को बढ़ाने की मंजूरी देगा.
वंदे भारत जैसी सेमी-हाई-स्पीड ट्रेन का नेटवर्क कवरेज बढ़ाने के लिए नए रेलवे ट्रैक तेजी से डेवलप करने की जरूरत है.
हर साल 5,000 किमी नई लाइन बिछेगी!
इन लाइन में गेज परिवर्तन, दुगुना, तिगुना या कुछ हिस्सों में चौगुना करना शामिल है. इन ट्रेनों को 200 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चलने के लिए बेहतर और मजबूत ट्रैक की जरूरत होगी. रेलवे का प्लान साल 2047 तक 25 साल में 15-20 खरब रुपये की लागत से 100,000 किमी नई लाइन को जोड़े जाने की उम्मीद है. इस लक्ष्य को पूरा करने के लिये हर साल 5,000-5,500 किमी नई लाइन बिछाए जाने की उम्मीद है.
100 अमृत भारत एक्सप्रेस ट्रेन चल सकती हैं
रेलवे के एक पूर्व अधिकारी ने उम्मीद जताई कि सरकार वित्त वर्ष 2025-26 में 10 वंदे भारत स्लीपर ट्रेन और 100 अमृत भारत एक्सप्रेस ट्रेन चला सकती है. इनके अलावा 1700 इलेक्ट्रिक इंजन और 8500 कोच जोड़कर रोलिंग स्टॉक में भी बढ़ोतरी होने की उम्मीद है. मुंबई-अहमदाबाद हाई स्पीड रेल कॉरिडोर (MAHSR) को तेजी से पूरा करने के लिए सरकार बुलेट ट्रेन के बजट को बढ़ा सकती है. एक्सीडेंट रोकने के लिए ज्यादा से ज्यादा ट्रेनों में कवच सिस्टम लगाने के लिये भी तैयारी की जा रही है. रेलवे निगरानी बढ़ाने के लिए ड्रोन टेक्नॉलजी पर विचार कर सकता है.
साल 2024 के रेलवे बजट पर एक नजर
जुलाई 2024 में पेश हुआ बजट रेलवे के लिए सबसे बड़ा रहा था. रेलवे को मजबूत करने और यात्रियों को नई सुविधाएं देने के लिए सरकार की तरफ से 2,62,200 करोड़ रुपये का बजट दिया गया था. 2023-24 के बजट में यह रकम 2.40 लाख करोड़ रुपये की थी. 2024 के बजट में भी सरकार का फोकस वंदे मेट्रो और वंदे भारत स्लीपर ट्रेनों के संचालन पर था. अब वंदे भारत स्लीपर जल्द हकीकत में बदलने वाली है. पिछले बजट में स्वदेशी तकनीक से बने 'कवच' सिस्टम पर भी जोर दिया गया.