UP Rera: यूपी रेरा ने बिल्डरों पर कसा शिकंजा, तीन अलग-अलग बैंक खातों में बताना होगा पाईं-पाई का हिसाब
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UP Rera: यूपी रेरा ने बिल्डरों पर कसा शिकंजा, तीन अलग-अलग बैंक खातों में बताना होगा पाईं-पाई का हिसाब

UP RERA: यूपी रेरा ने नियमों में  बदलाव किया है. प्रचार प्रसार सामग्री में तीनों अकाउंट का जिक्र करना होगा.  प्रोजेक्ट्स बैंक अकाउंट्स के दिशा निर्देशों में संशोधन किया है.

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UP RERA: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में अब हर हाउसिंग प्रोजेक्ट के लिए तीन बैंक खाते अनिवार्य कर दिए गए हैं. उत्तर प्रदेश भूसंपदा विनियामक प्राधिकरण (UP RERA) ने रियल एस्टेट प्रोजेक्ट्स बैंक अकाउंट्स के दिशा निर्देशों में संशोधन किया है. नए नियमों के तहत हर परियोजना के लिए बिल्डरों को तीन बैंक खाता कलेक्शन अकाउंट, सेपरेट अकाउंट और ट्रांजैक्शन अकाउंट खोलने होंगे. प्रचार प्रसार सामग्री में तीनों अकाउंट का जिक्र करना होगा. रेरा ने सेपरेट और कलेक्शन अकाउंट में बिल्डरों को डेबिट कार्ड, चेक बुक और नेट बैंकिंग की सुविधा भी बंद कर दी है. सेपरेट अकाउंट का पैसा प्रोजेक्ट और ट्रांजेक्शन अकाउंट के पैसा से अन्य खर्चे किए जाएंगे.

नियमों का पालन नहीं करने पर होगी बिल्डरों पर कार्रवाई
यूपी रेरा ने प्रोजेक्टों के बैंक खातों से जुड़े नियमों में बदलाव किया गया है. अब सेपरेट अकाउंट की धनराशि केवल प्रोजेक्ट और उसके विकास कार्यों में खर्च की जाएगी.  इस अकाउंट से जुर्माना, ब्याज और एश्योर्ड रिटर्न के पेमेंट पर रोक लगाई गई.  इन सभी मदों में भुगतान बिल्डर के ट्रांजेक्शन अकाउंट या फिर अपने लेवल से करना होगा. यूपी रेरा ने चेतावनी दी है कि अगर बिल्डरों ने इन चेतावनी को नहीं माना तो उन पर कार्रवाई की जाएगी. 
 
नए बैंक खाते खोलने का नियम
यूपी रेरा में उत्तर प्रदेश के 3536 प्रोजेक्ट रजिस्टर्ड हैं. पिछले साल यूपी रेरा ने नए प्रोजेक्टों के तीन नए बैंक खाते खोलने का नियम बनाया था.  इनमें सेपरेट, कलेक्शन और ट्रांजेक्शन अकाउंट शामिल हैं. प्रोजेक्ट से जुड़ा पूरा पैसा कलेक्शन अकाउंट में आएगा.  बैंक स्वत: ही 70 फीसदी धनराशि सेपरेट और 30 फीसदी धनराशि ट्रांजेक्शन अकाउंट में भेजेंगे. 

विकास कार्यों पर ही खर्च होगी धनराशि
सेपरेट एकाउंट की धनराशि प्रोजेक्ट की भूमि, निर्माण और विकास कार्यों पर ही खर्च होगी.  केवल निर्माण के लिए बैंक ऋण का सामान्य भुगतान ही कर सकेंगे. पिनल या कंपाउंड इंटरेस्ट, आवंटियों को ब्याज, मुआवजे का भुगतान नहीं कर सकेंगे.

रखी जाएगी निगरानी
चेयरमैन यूपी रेरा संजय भूसरेड्डी ने बताया कि इन तीनों अकाउंट की निगरानी रखी जाएगी. अगर कोई आदेश का पालन नहीं करेगा तो संबंधित बिल्डर पर जुर्माना लगाने की कार्रवाई की जाएगी.

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