जोधपुर के बिलाड़ा कस्बे में निर्जला एकादशी का पर्व श्रद्धा व उल्लास के साथ मनाया गया, इस दिन कई लोगों ने निर्जल व निराहार रखकर उपवास किया. निर्जला एकादशी पर व्रत पूजन के साथ दान पुण्य की परंपरा का भी निर्वाह करते हुए लोगों ने जमकर दान पुण्य किया.
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Jodhpur: जोधपुर के बिलाड़ा कस्बे में निर्जला एकादशी का पर्व श्रद्धा व उल्लास के साथ मनाया गया, इस दिन कई लोगों ने निर्जल व निराहार रखकर उपवास किया. निर्जला एकादशी पर व्रत पूजन के साथ दान पुण्य की परंपरा का भी निर्वाह करते हुए लोगों ने जमकर दान पुण्य किया. बाजारों में कई जगह शीतल जल की व्यवस्था की गई. सुबह से ही लोगों ने गौशाला में जाकर गायों की पूजा अर्चना कर हरा चारा डाला और गुड़ खिलाया, दिन भर गौशाला में लोगों की भीड़ नजर आई बड़ी संख्या में महिलाओं ने गायों को लापसी खिलाई.
मंदिर परिसरों में विभिन्न भजन मंडलियों कि ओर से कीर्तन को आयोजन किया गया जिसमें महिलाओं ने जमकर नृत्य किया. निर्जला एकादशी दिन जगह-जगह मंदिरों में भीड़ नजर आई और मंदिरों को विशेष रूप से सजाया गया. ग्रामीण इलाकों में महिलाओं ने पानी का मटका, छलनी, पंखी के साथ शक्कर के गोले, सिंघाड़े की सेव और आम रखें. महिलाओं ने अपनी बहन बेटियों के लिए आम भी भेजे. महिलाएं सुबह जल्दी उठकर बाणगंगा पहुंची, वहां पर पवित्र बाणगंगा में स्नान कर भगवान विष्णु की पूजा अर्चना कर मंगल कामना की.
बाजारों में जगह जगह आम के ठेले सजे हुए थे, लोगों ने आम की खरीदारी कर निर्धन लोगों को आम वितरण किए और खाद्य सामग्री भी भेंट की. मिठाई की दुकानों पर निर्जला एकादशी के पर्व पर विशेष रुप से मिठाई व नमकीन बनाई गई.
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