Akshaya Navami 2024 Date: अक्षय नवमी को आंवला नवमी के नाम से भी जाना जाता है. इस दिन भगवान विष्णु और आंवले के पेड़ की विशेष पूजा की जाती है. मान्यता है कि आंवले के पेड़ में भगवान विष्णु का वास होता है. इस दिन आंवले के पेड़ के नीचे भोजन बनाकर भगवान विष्णु और शिव को भोग लगाया जाता है. इसके बाद ब्राह्मणों को भोजन भी कराया जाता है. आइए एस्ट्रोलॉजर डॉ रुचिका अरोड़ा से जानते हैं अक्षय नवमी की तिथि और इसका महत्व क्या है.
अक्षय नवमी हिंदू धर्म का एक महत्वपूर्ण त्योहार है. इस दिन भगवान विष्णु और आंवले के पेड़ की पूजा की जाती है. मान्यता है कि इस दिन आंवले के पेड़ के नीचे भोजन करने से सुख-समृद्धि आती है. आइए एस्ट्रोलॉजर डॉ.रुचिका अरोड़ा से जानते हैं कि इस साल अक्षय नवमी कब है.
हर साल कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि को अक्षय नवमी व्रत रखा जाता है. इस साल यह तिथि 09 नवंबर को रात 10:45 बजे शुरू होगी और 10 नवंबर 2024 को रात 9:01 बजे समाप्त होगी. ऐसे में उदयातिथि के अनुसार अक्षय नवमी व्रत 10 नवंबर को रखा जाएगा.
अक्षय नवमी पूजा का शुभ मुहूर्त सुबह 6:40 बजे से दोपहर 12:05 बजे तक है. इस दिन सुबह 10:59 बजे रवि योग बनेगा और यह योग 11 नवंबर को सुबह 6:41 बजे समाप्त होगा.
मान्यता है कि अक्षय नवमी के दिन आंवले के पेड़ से अमृत गिरता है, इसलिए इस दिन आंवले के पेड़ के नीचे भोजन पकाया और खाया जाता है.
मान्यता है कि अक्षय नवमी के दिन आंवले के पेड़ के नीचे बैठकर भगवान विष्णु की पूजा करने से भक्त की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं.
अक्षय नवमी के दिन सुबह साफ पानी से स्नान करें. नहाने के बाद आंवले के पेड़ के नीचे गंगाजल चढ़ाएं और रोली, चावल, चंदन चढ़ाएं.
इसके बाद आंवले के पेड़ के नीचे घी का दीपक जलाएं. फिर भगवान विष्णु की विधिवत पूजा करें और "ॐ नमो भगवते वासुदेवाय" मंत्र का जाप करें. इसके बाद अक्षय नवमी की कथा का पाठ करें.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सिर्फ सामान्य मान्यताओं पर आधारित है. Zee News किसी भी तरह की मान्यता, सूचना की पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी पर अमल करने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.)
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