Poonam Pandey की हर जगह थू-थू हो रही है. मौत का मजाक बनाने वाली पूनम पांडे के खिलाफ एफआईआर तो दर्ज हो गई है. वहीं अब उनकी इस नौटंकी में साथ देने वाली कंपनी ने सोशल मीडिया पर माफीनामा शेयर किया है.
Trending Photos
Poonam Pandey News: पूनम पांडे (Poonam Pandey) ने अपनी झूठी की मौत की खबर ऐसी फैलाई की वो अब लोगों के गुस्से का सामना कर रही हैं. हर कोई पूनम के इस स्टंट को सर्वाइकल कैंसर के लिए अवेयरनेस नहीं बल्कि पब्लिसिटी स्टंट बता रहा है. सोशल मीडिया पर एक्ट्रेस ट्रोल हो रही हैं और उनके खिलाफ एफआईआर भी दर्ज हो गई है. पूनम की इस नौटंकी के पीछे कंपनी श्बांग ने एक माफीनामा जारी किया है. इस माफीनामा में उन्होंने ये दावा किया पूनम की इस फेक न्यूज की वजह से सर्वाइकल कैंसर की चर्चा ज्यादा होने लगी है. ये भी बताया कि एक्ट्रेस की मां भी इस घातक बीमारी का शिकार हो चुकी हैं.
ऑफिशियल हैंडल से शेयर किया माफीनामा
पूनम पांडे की इस नौटंकी में उनका पूरा साथ देने वाली कंपनी श्बांग ने अपने आधिकारिक अकाउंट से एक माफीनामा शेयर किया है. इसमें लिखा है- 'हां, हम लोग हॉटरफ्लाई के सपोर्ट से पूनम पांडे के साथ सर्वाइकल कैंसर के बारे में जागरूकता फैलाने की पहल में शामिल थे. इसके लिए हम लोग दिल से माफी चाहते है. खास तौर पर उन लोगों से जो किसी भी प्रकार के कैंसर का सामना कर रहे हैं.'
मकसद था सिर्फ अवेयरनेस
इस पोस्ट में आगे लिखा- 'हमारा मकसद इस पोस्ट से सिर्फ लोगों के बीच सर्वाइकल कैंसर के प्रति जागरूकता फैलाना है. साल 2022 से भारत में 123,907 सर्वाइकल कैंसर के मामले और 77,348 मौते दर्ज की गईं. ये ब्रेस्ट कैंसर के बाद मध्यम वर्गीय महिलाओं को प्रभावित करने वाली दूसरी सबसे ज्यादा खतरनाक बीमारी है.'
मां हो चुकीं शिकार
इसके साथ ही कंपनी ने दावा किया- 'बहुत लोग इस बात को नहीं जानते होंगे कि पूनम पांडे की मां ने भी कैंसर से बहादुरी से लड़ाई लड़ी है. इसे करीब से देखने और पर्सनल लाइफ में इस तरह की बीमारी से लड़ने की चुनौतियों से गुजरने के बाद एक्ट्रेस इसके रोकथाम के महत्व और इसकी अवेयरनेस को अच्छे से समझती हैं. वो भी तब जब इसकी वैक्सीन मौजूद हो. पूनम के इस कदम के बाद सर्वाइकल कैंसर सबसे ज्यादा गूगल पर सर्च किया जाने वाला टॉपिक है. पहली बार है कि सर्वाइकल कैंसर 1000 से ज्यादा हेडलाइन में है.'
मांगी माफी
एजेंसी ने आगे लिखा- 'हम लोग उन लोगों से फिर भी माफी मांगना चाहते हैं जिन्हें इसकी वजह से तकलीफ हुई. किसी भी तरह की परेशानी है किए हमें खेद है. लेकिन अगर इससे जागरूकता फैलती है और इससे मौतों को रोका जा सकता है. तो ये सही में इसका असर होगा.'