UPS vs NPS: साल 2004 के बाद भर्ती हुए सरकारी कर्मचारियों को अब तक एनपीएस के तहत पेंशन मिलने का प्रावधान था. लेकिन सरकार ने 24 अगस्त को यूपीएस को मंजूरी दे दी है. इसके बाद अब सरकारी कर्मचारियों को रिटायरमेंट पर कितनी पेंशन मिलेगी, आइए जानते हैं.
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UPS Calculation: ओल्ड पेंशन (OPS) के बाद न्यू पेंशन स्कीम (NPS) और अब सरकार ने यूनिफाइड पेंशन सिस्टम (UPS) को मंजूरी दे दी है. इस पेंशन स्कीम को 1 अप्रैल 2025 से लागू कर दिया जाएगा. जो कर्मचारी अभी एनपीएस के तहत आते हैं वे खुद को यूपीएस (UPS) में स्विच कर सकते हैं. आपको बता दें एनपीएस को साल 2004 में लागू किया गया था . इसके बाद जिन सरकारी कर्मचारियों की नियुक्ति हुई है, उन्हें एनपीएस के तहत कंसीडर किया जाता है. अब जब यूपीएस का रास्ता साफ है, कर्मचारी यूनियन भी इसे पसंद कर रही हैं तो बहुत से लोग यह जानना चाहते हैं कि इससे उनका रिटायरमेंट कैसे बदलेगा?
...अभी रिटायर हो जाऊं तो मुझे कितनी पेंशन मिलेगी?
सरकारी कर्मचारियों का सबसे बड़ा सवाल तो यही है कि अगर मैं अभी रिटायर हो जाऊं तो मुझे कितनी पेंशन मिलेगी? यहां पर आपको अलग-अलग सैलरी स्ट्रक्चर के हिसाब से बताएंगे कि आपको कितनी पेंशन मिलेगी. इससे पहले आपको यूपीएस के बारे में संक्षिप्त जानकारी होना जरूरी है. यूपीएस के तहत यदि कोई कर्मचारी 10 से 25 साल तक काम करता है तो उसे हर महीने कम से कम 10,000 रुपये पेंशन मिलेगी. लेकिन यदि कोई 25 साल तक या इससे ज्यादा काम करता है तो उसे आखिरी 12 महीने के औसत वेतन का 50 प्रतिशत पेंशन के रूप से गारंटीड दिया जाएगा.
कॉन्ट्रीब्यूशन पर डिपेंड करती है पेंशन और फैमिली पेंशन
ऐसे कर्मचारी जिन्होंने 25 साल या इससे ज्यादा समय तक काम किया है उन्हें पिछले 12 महीनों की औसत बेसिक सैलरी का 50% के बराबर पेंशन मिलेगी. पेंशनहोल्डर की मौत के बाद दी जाने वाली फैमिली पेंशन कर्मचारी की पेंशन राशि का 60% होगी. यूपीएस के तहत सरकार पेंशन के लिए बेसिक सैलरी का 18.4% और डीए कॉन्ट्रीब्यूट करेगी. वहीं कर्मचारी की तरफ से बेसिक सैलरी का 10 प्रतिशत कॉन्ट्रीब्यूट किया जाएगा. रिटायर होने वाले कर्मचारी की पेंशन क्या होगी? यह कॉन्ट्रीब्यूशन पर डिपेंड करता है. आइए देखते हैं पेंशन की पूरी कैलकुलेशन-
उदाहरण 1: बेसिक सैलरी 50,000 रुपये वालों के लिये
मान लीजिए किसी एक केंद्रीय कर्मचारी का पिछले 12 महीने की एवरेज बेसिक सैलरी 50,000 रुपये है. उसने कम से कम 25 साल तक नौकरी की है. यूपीएस के तहत उसे हर महीने 25,000 रुपये (डीआर को छोड़कर) की पेंशन मिलेगी. इसके साथ यदि 50 प्रतिशत महंगाई राहत मिलाया जाए तो यह 25,000+12500=37500 रुपये पेंशन हुई. पेंशनहोल्डर की मौत पर परिवार हर महीने 15,000 रुपये (डीआर के अलावा 25,000 रुपये का 60%) का हकदार होगा. इसके अलावा पेंशन की राशि पर सरकार की तरफ से देय महंगाई राहत भत्ता भी पेंशन के लाभार्थी को मिलता है.
उदाहरण 2: बेसिक सैलरी 65,000 रुपये वालों के लिये
यदि केंद्र सरकार के किसी कर्मचारी की पिछले 12 महीने की एवरेज बेसिक सैलरी 65,000 रुपये है तो उनकी पेंशन की कैलकुलेशन उस अमाउंट के 50% के रूप में की जाएगी. यानी रिटायर कर्मचारी की मंथली पेंशन 32,500 रुपये होगी. इसके ऊपर पेंशनहोल्डर को नियमानुसार महंगाई राहत भत्ते (DR) का भुगतान किया जाएगा. इस समय डीआर 50 प्रतिशत है, जो 32,500 पर 16,250 रुपये हुआ. कुल मिलाकर पेंशन 48,750 रुपये हुई. यदि उसकी मौत होती है तो उसे 32,500 का 60 प्रतिशत यानी 19,500 के साथ 50 प्रतिशत डीआर (19500+9,750=29,250) रुपये हुई.
उदाहरण 3: बेसिक सैलरी 75,000 रुपये वालों के लिये
यदि 25 साल तक नौकरी करने वाले किसी कर्मचारी की बेसिक सैलरी 75000 रुपये है तो उसे रिटायरमेंट पर 37500+50 प्रतिशत महंगाई भत्ता (18,750) का भुगतान पेंशन के रूप में किया जाएगा, जो कि 56,250 रुपये होती है. पेंशनहोल्डर की मौत पर उसके परिवार को 37500 रुपये का 60 प्रतिशत 22,500 रुपये मिलेगा, इसके अलावा इस पर 50 प्रतिशत का डीआर यानी 11225 रुपये मिलेगा. यानी फैमिली पेंशन के तौर पर 22,500+11225=33,725 रुपये होती है.