Som Pradosh Vrat 2023: हिंदू धर्म में सावन के महीना का बेहद महत्व है. यह पूरा महीना भगवान शिव को समर्पित है, इसलिए यह महीना काफी पवित्र माना जाता है. इस बार अधिकमास की वजह से भक्तों को बाबा भोलेनाथ की पूजा अर्चना करने के लिए दो माह का समय मिला. सावन का महीना अब आखिरी चरण में है. इस माह का आखिरी सोम प्रदोष व्रत 28 अगस्त को पड़ रहा है. सावन का सोमवार और सोम प्रदोष व्रत एक साथ होने से यह दिन काफी खास हो गया है.
हर महीने की त्रयोदशी तिथि के दिन प्रदोष व्रत रखा जाता है. इस बार 28 अगस्त के दिन सावन महीने के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि है. इसकी शुरुआत 28 अगस्त को शाम 6 बजकर 48 मिनट से होगी और समापन 29 अगस्त को दोपहर 2 बजकर 45 मिनट पर होगा.
ऐसे में 28 अगस्त को सोमवार के दिन शाम 6 बजकर 48 मिनट से रात 9 बजकर 02 मिनट तक पूजा का शुभ मुहूर्त रहेगा.
सावन के आखिरी सोमवार और आखिरी प्रदोष व्रत के दिन सुबह जल्द उठकर नित्य कर्म से निवृत होने के बाद सफेद या हरे रंग के कपड़े पहनें. इसके बाद शिवलिंग का गंगाजल से अभिषेक करें और व्रत रखने का संकल्प लें.
सूर्यास्त के बाद शुभ मुहूर्त में शिवलिंग का दूध, दही, घी, गंगाजल और शहद से शिवलिंग का अभिषेक करें और उनको बेलपत्र, सफेद अक्षत, भांग, धतूरा, सफेद रंग का फूल, काला तिल और सफेद चंदन अर्पित करें.
शिवलिंग का अभिषेक करने के बाद पूरे शिव परिवार की पूजा करें औरर आखिर में शिव चालीसा का पाठ करने के बाद भगवान शिव की आरती करें.
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