हालांकि कुछ जगहों पर यह आंकड़ा अलग भी बताया जाता है. औरंगजेब की जो दो हिंदू बीवियां थीं, उनके नाम थे नवाब बाई और उदैपुरी बताए जाते हैं. कहा जाता है कि यह दोनों औरंगजेब से बहुत प्रेम करती थी.
एक जानकारी तो यह भी है कि उदैपुरी औरंगजेब से इतना प्रेम करती थी कि वो सती होना पसंद करती थी. कहा जाता है कि उदैपुरी का कहना था कि अगर किसी वजह से औरंगजेब की मौत उससे पहले हो जाती है तो वो जीने की बजाए सती होना पसंद करेगी.
एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक इस बात की जिक्र खुद औरंगजेब ने एक खत में किया था. हालांकि यह एक इत्तेफाक ही है कि औरंगजेब और उदैपुरी की मौत एक ही साल में हुई.
एक खबर के मुताबिक 'रुक्काते आलमगीरी' के अंग्रेजी अनुवाद ‘लेटर्स ऑफ औरंगजेब’ में इस बात का जिक्र है. औरंगजेब ने यह खत अपने बेटे के नाम लिखा था.
हालांकि औरंगजेब भी उदैपुरी से बहुत प्यार किया करता था. कहा जाता है कि औरंगजेब अपनी पत्नी उदैपुरी के नाम पर बहुत से लोगों के गलतियों को भी माफ कर देता था.
एक जानकारी के मुताबिक औरंगजेब अपने बेटे काम बख्श की तमाम गलतियों को उदैपुरी के कहने पर माफ कर दिया करता था.
कहा जाता है कि उदैपुरी उस समय बेहद जवान थीं जब औरंगजेब की उम्र 50 वर्ष थी और उदैपुरी अपनी जवानी के दिनों से गुजर रही थीं. ऐसे में उदैपुरी के हुस्न और खूबसूरती का असर औरंगजेब पर आखिरी समय तक बना रहा.
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