UP Hotels Reality Check: कहीं फायर अलार्म खराब, तो कहीं स्मोक डिटेक्टर नहीं; हैरान करने वाली है होटलों की स्थिति
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UP Hotels Reality Check: कहीं फायर अलार्म खराब, तो कहीं स्मोक डिटेक्टर नहीं; हैरान करने वाली है होटलों की स्थिति

UP Hotels Safety Measures Conditions: उत्तर प्रदेश के होटलों में फायर सेफ्टी का जायजा लेने के लिए शासन-प्रशासन अलर्ट हो गए हैं. यूपी के कई जिलों में होटल्स की जांच की गई तो नतीजा हैरान करने वाला दिखा. पढ़ें खबर-

UP Hotels Reality Check: कहीं फायर अलार्म खराब, तो कहीं स्मोक डिटेक्टर नहीं; हैरान करने वाली है होटलों की स्थिति

Hotel Reality Check: लखनऊ के लेवाना होटल में अग्निकांड के बाद से ही यूपी शासन और प्रशासन हाई अलर्ट पर आ गया है. प्रदेश के हर जिले में बड़े होटलों और रेस्टोरेंट्स के सेफ्टी मानकों की जांच की जा रही है. इसको लेकर ज़ी यूपी-उत्तराखंड ने कई जिलों में होटलों से ग्राउंड रिपोर्ट की है. हैरानी की बात यह है कि ज्यादातर होटलों में सुरक्षा के मानक पूरे होते नहीं पाए गए. जानें क्या रहे हाल...

नोएडा: Hotel Savoy फायर सेफ्टी के रिएलिटी चेक में फेल, नोएडा सीएओ (चीफ फायर ऑफिसर) ने होटल को नोटिस भी जारी कर दिया है. बताया जा रहा है कि नोएडा के सेक्टर 16 स्थित Hotel Savoy के अंदर आग को लेकर सुरक्षा व्यवस्था नहीं पाई गई. फायर सेफ्टी के 4 मानकों में से 3 में होटल हुआ फेल. यहां तक की होटल का फायर अलार्म और स्मोक डिटेक्टेर सिस्टम भी खराब है. सीएफओ की तरफ से जो नोटिस दिया गया है, उसमें होटल सवॉय को 3 दिन के अंदर कमियों को दूर करने का निर्देश दिया गया है. आपातकालीन स्थिति में सीढ़ियों की तरफ़ जाने का रास्ता भी पूरा नहीं. बस स्प्रिंकलर सिस्टम ही ठीक है. इसके अलावा, नोएडा के और भी कई बड़े होटल फायर सेफ्टी मानक में फेल साबित हुए हैं. 

सवॉय होटल के जनरल मैनेजर राजीव रंजन ने कहा कि कुछ कमियों के लिए सीएफओ की तरफ से नोटिस मिला है. तीन दिन के अंदर इसे ठीक कर दिया जाएगा. 

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नोएडा: मीडियम क्लास होटल्स में मिलीं ज्यादा कमियां
होटल फॉर्च्यून में स्प्रिंकलर के ठीक से काम ना करने की खबर फायर डिपार्टमेंट को दी गई थी. अब इस होटल को भी तीन दिन में कमी दूर करने का नोटिस जारी किया गया है. वैसे तो सेफ़्टी फ़ायर के बहुत सारे मानक हैं, लेकिन लिफ़्ट और सीढ़ियां जो कि आपातकालीन समय में ज़्यादा अहम हो जाती हैं, वह सही रहना जरूरी है. आमतौर पर बड़े होटल फ़ायर सेफ़्टी के मामलों का पालन करते हैं, लेकिन मीडियम क्लास के होटल या Oyo होटल्स में यह दिक़्क़तें ज़्यादा आती हैं. हमें जांच में जहां-जहां कमियां मिलेंगी, वहां सख़्त कार्रवाई होगी.

सीतापुर: आग बुझाने को लेकर हुई मॉक ड्रिल
यूपी के सीतापुर में अग्निशमन विभाग अलर्ट मोड में दिखाई दिया. सीएफओ के नेतृत्व में कई होटलों में छापेमारी की गई. छापेमारी के दौरान राजस्थानी होटल सहित कई होटलों में खामियां पाई गईं. कुछ होटलों में एक्सपायरी डेट के सिलेंडर लगे हुए पाए गए तो कई होटलों में मानक के अनुसार नक्शा पास नहीं दिखाई दिया. वहीं, अधिकांश होटलों में निकासी का एक ही रास्ता पाया गया. राजस्थानी होटल में चेकिंग के दौरान होटल के अंदर सीढ़ियों में मिठाई के डिब्बे लगे हुए देखकर सीएफओ ने होटल मालिक को फटकार लगाते हुए नोटिस जारी की है. हालांकि, दमकल विभाग ने शहर के अधिकांश होटल मालिकों को नोटिस जारी किया है. इसमें उन्हें कमियों को दूर करने का निर्देश जारी किया है. इस छापेमारी के दौरान दमकल कर्मियों ने राजस्थानी होटल पर एक मॉक ड्रिल के माध्यम से गैस सिलेंडर में आग लगने पर इसे बुझाए जाने का तरीका भी बताया.

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कानपुर: मानकों को दरकिनार कर चल रहे होटल
कानपुर के घंटाघर इलाके में बड़ी मात्रा में होटल मौजूद हैं, क्योंकि यहां पास में ही रेलवे स्टेशन और एक किलोमीटर की दूरी पर बस अड्डा भी है. हरबंस मोहाल थाने के अंतर्गत आने वाले होटल शिव में जहां पूरे होटल में 25 कमरे हैं. यहां की व्यवस्था आग बुझाने के लिए पर्याप्त नहीं है. यहां लगे अग्नि बुझाने वाले सिलेंडर एक्सपायर्ड हैं. केवल एक ही सीढ़ी यहां मौजूद है और उसकी चौड़ाई बेहद कम है. यहां पर होटल के किचन में भी असुविधा पाई गई और आग से निपटने के लिए कोई भी संसाधन मौजूद नहीं है. होटल में लिफ्ट नहीं है. उसके बावजूद, यहां केवल एक ही सीढ़ी मौजूद है. 

कानपुर: तिरुपति गैलेक्सी मानकों में फेल
होटल तिरुपति गैलेक्सी में आग बुझाने वाले संसाधन पूरी तरह से निष्क्रिय दिखाई दिए. आग बुझाने के लिए लगे सिलेंडर 2 साल पूर्व ही एक्सपायर हो गए थे. होटल 5 फ्लोर में बना हुआ है, लेकिन यहां की सुविधा की बात की जाए तो यहां सीढ़ियां भी केवल ढाई फुट की हैं. यानी कि अगर होटल में आग लग जाए तो यहां से लोगों का निकलना भी दूभर है. केवल एक लिफ्ट है, जिसमें केवल तीन से चार लोग ही आ सकते हैं. ऐसे में होटल के मैनेजर एनओसी भी नहीं दिखा सके. यह सवाल खड़ा करता है कि ऐसी स्थिति में अगर आग लगने से कोई हादसा हो जाए, तो यहां बड़ा नुकसान हो सकता है. वहीं, रियलिटी चेक में घंटाघर स्थित तिरुपति गैलेक्सी फेल पाया गया.

कानपुर का एक होटल, जो मानकों में हुआ पास
कानपुर के सबसे पॉश इलाके माल रोड स्थित ग्रैंड गीत होटल में सुरक्षा संबंधी उपकरणों का जायजा लिया गया. होटल में अगर आग लगती है तो उससे बचने के लिए किस तरह के उपाय होटल प्रबंधन ने कर रखे हैं. यहां इमरजेंसी के लिए एक अलग लिफ्ट और चौड़ी सीढ़ियां मौजूद दिखीं. वहीं, आग लगने के वक्त पूरे होटल को यह सूचना पहुंचाने के लिए कई तरह के तकनीकी उपकरण व संसाधन भी होटल में मौजूद हैं. आग लगने पर ओवरहेड टैंक की मदद से आग पर काबू पाया जा सकता है. रियलिटी चेक में कानपुर का यह होटल पास पाया गया.

अयोध्या: होटल की कमियों पर भेजा जाएगा नोटिस
लखनऊ के हुई घटना के बाद अब अयोध्या में यात्रियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए जिला प्रशासन सतर्क हो गया है. आज अयोध्या विकास प्राधिकरण और फायर विभाग की संयुक्त टीम ने नामी होटल शान-ए-अवध, तिरुपति, अवंतिका और आकाश धर्मशाला पर छापेमारी की गई है और वहां पर यात्रियों की सुविधा और सुरक्षा संबंधित उपकरणों का निरीक्षण किया है. इस दौरान कई होटल में कमियां पाई गई है और इसमे नामी होटल अवंतिका को सील करने की कार्रवाई हो सकती है. तो वहीं, अन्य होटल में मिले कमियों पर नोटिस दिए जाने की कार्रवाई की जाएगी.

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बरेली: होटल के स्टाफ ने अफसरों से की बदसलूकी
बरेली के होटल्स में शुरू हुआ चेकिंग अभियान. 90 फीसदी होटलों में नहीं मिली फायर विभाग की एनओसी. सकरी गलियों में घरों में बना लिए गए गेस्ट हाउस. आग से निपटने के कोई इंतजाम भी नहीं मिले. होटल राजकमल में बेसमेंट में चलता मिला क्लीनिक. फायर विभाग के अफसरों से होटल के स्टाफ ने की बदसलूकी, मुकदमा दर्ज. होटल स्टाफ के दो कर्मचारी लिए गए हिरासत में. शहर कोतवाली थाना क्षेत्र के स्टेशन रोड पर बने होटलों की चेकिंग की गई.

नोएडा: The Residency Hotel का रिएलिटी चेक
नोएडा में फ़ायर विभाग की टीम सेफ़्टी की पड़ताल कर रही है. नोएडा के The Residency Hotel में दूसरे होटलों के मुताबिक, स्थिति बदली हुई दिखी. 

लेवाना होटल अग्निकांड पर लखनऊ पुलिस कमिश्नर का बयान
घटना के कारणों की जांच हो रही है, हर एक पहलू पर जांच की जा रही है. अभी जांच चल रही है, इसलिए बहुत कुछ बताने के लिए नहीं है. जल्द से जल्द जांच पूरी की जाएगी.

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