Mahakumbh 2025: प्रयागराज में 45 दिनों तक चलने वाले महाकुंभ में दो शाही स्नान हो चुके हैं. फरवरी महीने में भी शाही स्नान होंगे. भीड़ भाड़ से बचकर फरवरी महीने में महाकुंभ के साक्षी बन सकते हैं.
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Mahakumbh 2025: प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ 2025 का दूसरा शाही स्नान हो गया है. 45 दिनों तक चलने वाले महाकुंभ में फरवरी महीने में अमृत स्नान होंगे. ऐसे में भीड़ भाड़ से बचकर फरवरी में आने वाले अमृत स्नान में पुण्य की डुबकी लगा सकते हैं. 13 जनवरी को शुरू हुआ महाकुंभ 26 फरवरी को समाप्त होगा. इससे पहले आप महाकुंभ के साक्षी बन सकते हैं.
फरवरी में कितने अमृत स्नान
जनवरी समाप्त हो गई है. फरवरी शुरू हो रही है. फरवरी के पहले सप्ताह में ही बसंत पंचमी मनाई जाएगी. तीन फरवरी को बसंत पंचमी पर महाकुंभ का तीसरा और अंतिम अमृत स्नान होगा. बसंत पंचमी के दिन माता सरस्वती की विशेष तौर पर पूजन अर्चन की जाती है. इस दिन किया गया स्नान काफी खास होने वाला है.
माघ पूर्णिमा
फरवरी में दूसरा स्नान माघ पूर्णिमा पर आयोजित होगा. पूर्णिमा का दिन काफी शुभ माना गया है. इस दिन चंद्रमा अपने पूरे रूप में होता है. ऐसे में अमृत स्नान करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है. साथ ही सभी पाप कट जाते हैं. हालांकि, भीड़ से बचने के लिए माघ की पूर्णिमा से पहले या बाद में भी स्नान कर सकते हैं.
महाशिवरात्रि
फरवरी महीने का तीसरा और महाकुंभ का अंतिम स्नान महाशिवरात्रि पर आयोजित होगा. 26 फरवरी को महाशिवरात्रि का त्यौहार है इस दिन किया गया स्नान व्यक्ति को पुण्य फलों की प्राप्ति करवाएगा. महाशिरात्रि पर महाकुंभ में भारी भीड़ हो सकती है. ऐसे में भीड़ से बचकर पहले ही स्नान कर सकते हैं.
अमृत स्नान का महत्व
धार्मिक मान्यताओं के मुताबिक, अमृत स्नान के दिन गंगा जी में स्नान करने से सभी पापों से मुक्ति मिल जाती है. साथ ही अमृत स्नान करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है. अमृत स्नान करने से पितर दोष भी दूर हो जाते हैं. वैसे महाकुंभ में किसी भी दिन स्नान करने से विशेष फल की प्राप्ति होती है, लेकिन धार्मिक मान्यताओं के अनुसार अमृत स्नान करने से अमरत्व की प्राप्ति होती है.
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