One Rank One Pension Dues: वन रैंक वन पेंशन (One Rank One Pension) के मामले में पूर्व सैनिकों और शहीदों की विधवाओं के लिए बड़ी खुशखबरी है. बकाया एरियर पर सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दे दिया है.
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One Rank One Pension Latest News: वन रैंक वन पेंशन (One Rank One Pension) के तहत पूर्व सैनिकों और शहीदों की विधवाओं के बकाया एरियर पर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने आदेश दे दिया है. 2019-20 साल के समय का 28 हजार करोड़ रुपये एरियर के रूप में में भारत सरकार को देना हैं. मौजूदा वित्तीय वर्ष के लिए सरकार का बजट 8.5 लाख करोड़ का है. रक्षा मंत्रालय ने वित्त मंत्रालय से फंड के बारे में चर्चा की. वित्त मंत्रालय ने एक मुश्त ये बकाया एरियर रिलीज कर पाने में असमर्थता जताई है. 25 लाख पेंशनर्स में 4 लाख हैं जो 70 साल से ऊपर हैं. ऐसे में 21 लाख पेंशनर्स में से 6 लाख पेंशनर्स को पहली किश्त दी जाएगी. ये वो 6 लाख परिवार हैं या तो इनके परिवार से कोई शहीद हो गया या फिर जिन्हें वीरता पुरस्कार मिला है. इन परिवारों को एक बार में पूरा भुगतान कर दिया जाएगा.
सुप्रीम कोर्ट ने दिया ये आदेश
सुप्रीम कोर्ट के आदेश के मुताबिक, 70 साल या इसके ऊपर के आयु के पेंशनर्स को 30 जून तक भुगतान कर दिया जाए. बाकी बचे पेंशनर्स को किश्तों में बकाया दिया जाएगा. इसकी 31 अगस्त, 30 नवंबर 2023 और 28 फरवरी 2024 को 3 किश्तें होंगी.
सील कवर नोट स्वीकार करने से किया मना
इसके अलावा सुनवाई शुरू होने से पहले चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया डीवाई चंद्रचूड़ ने भारत सरकार द्वारा सील कवर नोट को स्वीकार करने से मना कर दिया. सीजेआई ने कहा कि अटॉर्नी जनरल या तो इसे पढ़कर सुनाएं या वापस ले जाएं.
सीजेआई ने सरकार को दी नसीहत
सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने कहा कि हमें सुप्रीम कोर्ट में सीलबंद लिफाफे में जवाब दिए जाने के चलन पर रोक लगाने की जरूरत है. यह मूल रूप से निष्पक्ष न्याय दिए जाने की बुनियादी प्रक्रिया के विपरीत है.
चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया डीवाई चंद्रचूड़ ने कह कि मैं व्यक्तिगत तौर पर सीलबंद लिफाफे में जवाब दिए जाने के खिलाफ हूं. कोर्ट में पारदर्शिता होनी चाहिए. यह आदेशों को लागू लाने को लेकर है. इसमें क्या गोपनीय हो सकता है?
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