Patna News: केंद्रीय आम बजट के बाद आईआईटी पटना में तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का आगाज स्ट्रक्चरल और जिओ टेक्नोलॉजी इंजीनियरिंग से विकसित बिहार बनाने के सपनों को लेकर कार्यक्रम का आयोजन किया गया है. इस कार्यक्रम में देश के विभिन्न संस्थान आईआईटी, आईआईटी और इंजीनियरिंग कॉलेज समेत कनाडा से डेलीगेट पहुंचे. आयोजित इस सम्मेलन का मकसद कार्बन मुक्त देश बनाने के उद्देश्य से किया गया था.
पटना आईआईटी में स्ट्रक्चरल और जिओ टेक्निकल इंजीनियरिंग पर पहला अंतर्राष्ट्रीय कॉन्फ्रेंस का आयोजन हुआ है, जिसमें कनाडा, नेपाल सहित देश-विदेश के दो दर्जन से अधिक एक्सपर्ट शामिल हुए हैं.
आईआईटी रुड़की, आईआईटी बॉम्बे सहित कई राष्ट्रीय तकनिकी संस्थानों के एचओडी ने सम्बोधन में देश में ग्रीन फील्ड के तहत बन रहे एयरपोर्ट, रोड, बल्डिंग्स पर अपने सकरात्मक और नई शोध के बारे में चर्चा की.
पटना आईआईटी डायरेक्टर ने कहा कि यह सेमिनार स्ट्रक्चरल और जिओ टेक्नोलॉजी इंजीनियरिंग के ऊपर हो रहा है, जो सिविल इंजीनियरिंग के दो पार्ट है. देश में जिस तरह से इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास हो रहा है. देश जिस तरह तेज गति से आगे बढ़ रहा है, उसमें इस दो विषयों का बहुत ही बड़ा योगदान है.
एक तो निर्माण करना दूसरा निर्माण के साथ गुणवत्ता पूर्ण निर्माण करना पटना आईआईटी आज के दिन में खुद एक प्रयोगशाला है. हमें इन्फ्रास्ट्रक्चर का विकास करना है और ग्राउंड को भी बेहतर बनाना है.
ग्राउंड बेहतर रहेगा तो इन दोनों विषय के महत्व को देखते हुए, बिहार के विकास को तेज गति से चलते देखकर इन सब विषयों को देखकर आईआईटी पटना में एक सेमिनार का आयोजन किया गया है.
जिसमें बहुत सारे आईआईटी, एनआईटी, इंजीनियरिंग कॉलेज और कनाडा से डेलीगेट आए हुए हैं. इस सेमिनार में जितने भी बातें होगी उसे बिहार को तकनीकी रूप से फायदा मिलेगा. (इनपुट - इश्तियाक खान)
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