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आलू...मटर...लहसुन...प्याज...टमाटर सब बर्बाद, हाथियों ने और क्या क्या रौंदा?

झारखंड के कुछ जिलों मे हाथियों का आतंक काफी ज्यादा है. हाथियों का झुंड रातभर जमकर उत्पात मचाता है. इस दौरान खेतों में लगी फसलों को नुकसान पहुंचाता है. खेत से लेकर घर और चहारदीवारी को क्षतिग्रस्त कर देता है. गेहूं, सरसों और अन्य फसलों को रौंद देते हैं.

हाथियों का आतंक काफी ज्यादा

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हाथियों का आतंक काफी ज्यादा

झारखंड के कुछ जिलों में हाथियों का आतंक काफी ज्यादा है. हाथियों का झुंड रातभर जमकर उत्पात मचाता है. इस दौरान खेतों में लगी फसलों को नुकसान पहुंचाता है.

हाथियों के झुंड का बहुत ही भयानक तांडव

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हाथियों के झुंड का बहुत ही भयानक तांडव

खेत से लेकर घर और चहारदीवारी को क्षतिग्रस्त कर देता है. गेहूं, सरसों और अन्य फसलों को रौंद देते हैं. इसी तरह चतरा जिले में हाथियों के झुंड ने बहुत ही भयानक तांडव किया. 

मकान और पोल्ट्री फार्म को ध्वस्त

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मकान और पोल्ट्री फार्म को ध्वस्त

दरअसल, चतरा में हाथियों ने दूसरे दिन भी आतंक मचाया. सिमरिया के बरसौत गांव में हाथियों के झुंड ने धावा बोलकर एक मकान और पोल्ट्री फार्म को ध्वस्त कर दिया. इस दौरान उनके सामने जो भी कुछ आया सब बर्बाद कर दिया.

हाथियों ने किसानों को काफी नुकसान पहुंचाया

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हाथियों ने किसानों को काफी नुकसान पहुंचाया

हाथियों के झुंड ने इस दौरान कई एकड़ खेत में लगे आलू, मटर, लहसुन, प्याज, टमाटर, गेहूं समेत अन्य फसलों को रौंदकर बर्बाद कर दिया. खेत में लगी फसल अब नष्ट हो चुकी है. हाथियों ने किसानों को काफी नुकसान पहुंचाया है. 

पटाखा जलाकर और ढोल बजाकर हाथियों को खदेड़ा

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पटाखा जलाकर और ढोल बजाकर हाथियों को खदेड़ा

ग्रामीणों ने बताया कि जब हांथी गांव में आये तो हम लोग जान बचा कर भागे, फिर इकट्ठा होकर पटाखा जलाकर और ढोल बजाकर हाथियों को खदेड़ा. मगर, इस दौरान डर लग रहा था कि कही हाथियों का झुंड वापस लौट कर हमला ना कर दे.

हाथियों के हमले से डर के साए ग्रामीण

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हाथियों के हमले से डर के साए ग्रामीण

ग्रामीणों ने बताया कि हाथियों के झुंड ने घर और पोल्ट्री फार्म को पूरी तरह से बर्बाद कर दिया है. घर और पोल्ट्री फार्म दोनों चतुर्गुण साव का था. जबकि फसल आधे दर्जन ग्रामीणों की थी. स्थानीय लोगों का कहना है कि रोज रोज हाथियों की तरफ से पहुंचाये जा रहे नुकसान से ग्रामीण आतंकित हैं. 

 

हाथी सबसे ज्यादा तबाही मचाते हैं

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हाथी सबसे ज्यादा तबाही मचाते हैं

बता दें कि दिसंबर, 2024 में चतरा, खूंटी, लातेहार, गुमला, हजारीबाग, गढ़वा, चाईबासा, बोकारे और गिरिडीह जिले में 100 से भी अधिक गांवों में हाथियों ने उत्पात मचाया था. बताया जाता है कि फसल के मौसम में हर साल हाथी सबसे ज्यादा तबाही मचाते हैं.