भारतीय मुस्लिम अरबपति कारोबारी ने स्टाफ की लाश को दिया कन्धा, पढ़ाई जनाज़े की नमाज़; Video
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भारतीय मुस्लिम अरबपति कारोबारी ने स्टाफ की लाश को दिया कन्धा, पढ़ाई जनाज़े की नमाज़; Video

Muslim billionaire MA Yousuf Ali offers funeral prayers of Staff: केरल के निवासी अरबपति मुस्लिम कारोबारी और लुलु ग्रुप के चेयरमैन एमए यूसुफ अली ने सऊदी अरब में अपने एक स्टाफ की मौत पर न सिर्फ उसके ताबूत को अपना कन्धा दिया बल्कि खुद उसके जनाज़े की नमाज़ भी पढाई. लोग इस बात की काफी तारीफ कर रहे हैं और बोल रहे हैं कि बॉस हो तो ऐसा होना चाहिए..

स्टाफ के जनाज़े की नमाज़ पढ़ाते हुए लुलु ग्रुप के चेयरमैन एमए यूसुफ अली

Muslim billionaire MA Yousuf Ali offers funeral prayers of Staff: इस्लाम इंसानों के बीच किसी भी तरह के भेदभाव को प्रतिबंधित करता है. यहाँ अमीर- गरीब, उंच- नीच, गोरा- काला, मलिक- मैनेजेर और स्टाफ सबसे अच्छा और नेक व्यवहार की सलाह दी गई है. कई बार सऊदी अरब के ऐसे वीडियो वायरल होते हैं, जिसमें कोई अमीर शेख अपने गरीब  मुलाजिम के साथ खाना खा रहा होता है, या नामज़ पढ़ रहा होता है. इस बार एक ऐसा ही विडियो एक भारतीय अरबपति मुस्लिम कारोबारी का वायरल हो रहा है, जिसकी पूरी दुनिया में लोग तारीफ कर रहे हैं, और कह रहे हैं कि दुनिया के सभी बड़े इंसान को इस आदमी के जैसा होना चाहिए..

दरअसल, केरल के निवासी और लुलु ग्रुप के अरबपति चेयरमैन एमए यूसुफ अली के सऊदी अरब के अबू धाबी में स्थित एक माल में काम करने वाले स्टाफ का दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गयी थी. शिहाबुद्दीन नाम का ये स्टाफ भारत के थिरुर कनमनम का मूल निवासी था. वो अबू धाबी के अल वाहदा मॉल के लुलु हाइपरमार्केट में पर्यवेक्षक के तौर पर काम करते थे. 

अपने स्टाफ की मौत के बाद चेयरमैन एमए यूसुफ अली ने न सिर्फ स्टाफ के जनाने को कन्धा दिया बल्कि उसके जनाज़े की नमाज़ भी खुद ही पढाई. 
 

एमए यूसुफ अली के इस काम की काफी चर्चा हो रही है.  एक सोशल मीडिया यूजर ने टिप्पणी की, "यह बिल्कुल वैसा ही है जैसा एक बॉस होना चाहिए - सलाम ऐसे इंसान को!" एक और यूजर ने कहा, "एक आदमी मर गया है... उसके जनाज़े की नमाज़ देश का सबसे बड़ा अरबपति और मृतक व्यक्ति की कंपनी का मालिक पढ़ा रहा है... यही मानवता है!"

एक महिला का दस लाख का क़र्ज़ चुका चुके हैं यूसुफ अली

एमए यूसुफ अली अपने परोपकार के काम के लिए जाने जाते हैं. एमए यूसुफ अली ने केरल की एक महिला की मदद की थी, जिसे बकाया क़र्ज़ की वजह से घर से निकाल दिया गया था. तब इस अरबपति कारोबारी ने भारत में अपनी टीम को महिला के पास भेजकर उसका क़र्ज़ चुकाने का निर्देश दिया था. मलयालम मीडिया के मुताबिक, संध्या नाम की महिला और उसके पति ने केरल के उत्तरी परवूर में अपना घर बनाने के लिए 2019 में मणप्पुरम फाइनेंस से ₹4 लाख का क़र्ज़ लिया था. हालाँकि, 2021 के आसपास, उसके पति ने उसे और उसके दो बच्चों को छोड़ दिया, जिससे क़र्ज़ चुकाना मुश्किल हो गया. नतीजतन, बकाया राशि ब्याज सहित लगभग ₹8 लाख हो गई थी. हाल ही में, जिस कपड़े की दुकान पर संध्या काम करती थी, वहां से लौटने पर संध्या को पता चला कि एनबीएफसी के अधिकारी उसके घर में घुस आए हैं, ताले बदल दिए हैं, और उसे और उसके बच्चों को घर से निकाल दिया है, जिससे वे अपना सामान भी नहीं निकाल पाई. इस वाकये की जानकारी मिलने के बाद एमए यूसुफ अली ने उसका कर्जा चुकाया. 

 

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