Dream11: स्पोर्टा टेक्नोलॉजीज प्राइवेट लिमिटेड ने जीएसटी इंटेलिजेंस महानिदेशालय ने Dream 11 पर 25,000 करोड़ रुपये का कर चोरी का इल्जाम लगाया है. इस मामले में ड्रीम 11 ने मुंबई हाइकोर्ट का रुख किया है.
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Dream11: ऑनलाइन गेमिंग पोर्टल ड्रीम11 का संचालन करने वाली स्पोर्टा टेक्नोलॉजीज प्राइवेट लिमिटेड ने जीएसटी इंटेलिजेंस महानिदेशालय (DGGI) की तरफ से उसे जारी किए गए कारण बताओ नोटिस को चुनौती देते हुए बॉम्बे हाईकोर्ट में एक याचिका दायर की है. उस पर 25,000 करोड़ रुपये के माल और सेवा कर (GST) की चोरी का इल्जाम लगाया है.
कॉर्पोरेट हलके परेशान
सोमवार को दायर की गई याचिका पर जल्द ही सुनवाई होने की उम्मीद है. जीएसटी पूर्व कारण बताओ नोटिस- जिसे किसी भी इकाई से अब तक का सबसे ज्यादा अप्रत्यक्ष कर दावा माना जा रहा है, ने देश भर के कानूनी और कॉर्पोरेट हलकों को परेशान कर दिया है. मनीकंट्रोल डॉट कॉम के मुताबिक, हर्ष जैन की कयादत वाली ड्रीम11, वैल्यूएशन और उपयोगकर्ता आधार दोनों के मामले में फंतासी गेमिंग क्षेत्र की अग्रणी खिलाड़ी है.
पिछले साल कमाया 142 करोड़
कंपनी का हालिया मूल्यांकन 8 अरब डॉलर को पार कर गया है और इसका दावा है कि उसके पास कई करोड़ लोगों का उपयोगकर्ता-आधार है. मनीकंट्रोल डॉट कॉम के मुताबिक, पिछले साल ड्रीम11 ने 3,840 करोड़ रुपये से ज्यादा के परिचालन राजस्व से 142 करोड़ रुपये का फायदा कमाया था.
इन कपनियों को नोटिस
समझा जाता है कि ड्रीम 11 के अलावा, DGGI ने 55,000 करोड़ रुपये से ज्यादा की कथित जीएसटी बकाया राशि के लिए अग्रणी ऑनलाइन रियल मनी गेमिंग कंपनियों को निशाना बनाते हुए ऐसे कई पूर्व-कारण नोटिस भेजे हैं, और कुल जीएसटी मांग लगभग दोगुनी होकर लगभग 100,000 करोड़ रुपये हो सकती है. जिन संस्थाओं को भारी लेकिन अलग-अलग मात्रा में जीएसटी दावों के लिए कारण बताओ नोटिस (कारण बताओ नोटिस से पहले भेजा गया) भेजा गया है, उनमें गेम्सक्राफ्ट, प्लेगेम्स24x7, माय11सर्कल, रम्मीसर्कल आदि शामिल हैं.