Migratory Birds In Kashmir: भारत में सर्दी का मौसम दस्तक दे चुका है. कश्मीर घाटी में हर साल की तरह यहां के कई मेन वेटलैंड्स में प्रवासी पक्षियों का आना शुरू हो गया है. इसकी वजह से इलाके की खूबसूरती में चार चांद लग गए है. अभी यहां आने वाले टूरिस्ट्स के लिए भी इन माइग्रेटरी बर्ड्स देखना नसीब हो रहा है. (सभी फोटोज-PTI)
हर साल की तरह इस साल भी कश्मीर के होकर्सर, शातलाम, शालबग, और वुलर झील जैसे जलाशयों में लाखों प्रवासी पक्षियों का आगमन हो रहा है, ये देखना बेहद शानदार है.
इनमें दुनिया के कई हिस्सों से आने वाले पक्षी हैं. साइबेरिया, हंगरी, ऑस्ट्रेलिया, ऑस्ट्रिया और दूसरे मुल्कों से ये प्रवासी कश्मीर घाटी के खुशनुमा मौसम में सर्वाइव करने के लिए यहां आते हैं.
हर साल इन वेटलैंड्स में लाखों माइग्रेटरी बर्ड्स की मौजूदगी देखी जाती है, जिनमें मल्लार्ड, ग्रेलेग गीज, पिंटेल्स, शॉवलर्स और कॉर्मोरेंट्स जैसे पक्षी प्रमुख हैं.
हालांकि, इस साल कश्मीर घाटी में सूखा पड़ा था, लेकिन हाल ही में पहाड़ों पर हुई बर्फबारी से उम्मीद जताई जा रही है कि और भी पक्षी इस क्षेत्र में आएंगे.
जैसे-जैसे कश्मीर घाटी में तापमान गिर रहा है और कुछ क्षेत्रों में माइनस टेम्परेचर भी फील हो रहा है, इससे और भी ज्यादा पक्षियों के आने की संभावना जताई जा रही है.
कश्मीर घाटी में हर साल इन वेटलैंड्स में 12 लाख से ज्यादा पक्षी दूसरे देशों से आते हैं जो यहां तकरीबन महीने तक रहते हैं. इन पक्षियों के आने से न केवल सिर्फ कश्मीर की बायोडायवर्सिटी में इजाफा होता है, बल्कि पर्यटकों के लिए भी यह आकर्षण का केंद्र बन जाता है.
खास तौर पर बर्ड वॉचिंग के शौकिन इन वेटलैंड्स में आकर इन खूबसूरत पक्षियों की अलग-अलग प्रजातियों को देख सकते हैं और कश्मीर की कुदरती खूबसूती का लुत्फ उठा सकते हैं. (इनपुट-आईएएनएस)
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