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यूपी के इस जिले में सबसे बड़ी जेल, 135 साल पहले अंग्रेजों ने बनवाई

अंग्रेजों से देश को आजाद कराने के लिए हजारों भारतीयों ने अपनी कुर्बानी दी. लाखों स्‍वतंत्रता सेनानियों को जेल की चक्‍की भी पीसनी पड़ी. प्रयागराज स्थित नैनी सेंट्रल जेल इनमें से एक है, जिसे अंग्रेजों ने बनवाया था. देश के तीसरे सबसे बड़े जेल का इतिहास सैकड़ों साल पुराना है.

कब बना नैनी सेंट्रल जेल?

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कब बना नैनी सेंट्रल जेल?

प्रयागराज स्थित नैनी सेंट्रल जेल को अंग्रेजों ने 1889 में बनवाया था. शुरुआत में इस जेल का इस्‍तेमाल स्‍वतंत्रता सेनानियों को बंद करने के लिए किया गया. 

जवाहर लाल जेल गए

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जवाहर लाल जेल गए

इसके बाद नैनी सेंट्रल जेल का इस्‍तेमाल राजनैनिक कैदियों को बंद रखने के लिए भी होने लगा. देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू को 1930 में इसी जेल में बंद किया गया. 

पहले प्रधानमंत्री भी बंद रहे

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पहले प्रधानमंत्री भी बंद रहे

जवाहर लाल नेहरू पूरे स्वतंत्रता संघर्ष के दौरान तकरीबन 9 साल जेल में रहे. इलाहाबाद के नैनी जेल में उन्हें 5 बार लाया गया. नेहरू को नैनी जेल में 181 दिन के लिए कैद किया गया था.

कितने एकड़ में बना?

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कितने एकड़ में बना?

नैनी सेंट्रल जेल करीब 237 एकड़ में फैला है. यह देश का तीसरा सबसे बड़ा जेल है. वहीं, उत्‍तर प्रदेश के जेलों की बात करें तो यह प्रदेश का सबसे बड़ा जेल है.  

कितने कैदी की क्षमता?

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कितने कैदी की क्षमता?

नैनी सेंट्रल जेल में करीब तीन हजार से ज्‍यादा कैदियों के रखने की क्षमता है. इस जेल में कई तरह की सुविधाएं हैं. सुरक्षा के लिहाज से भी यह जेल चर्चा में रहता है. 

 

जेल के अंदर ये सुविधाएं

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जेल के अंदर ये सुविधाएं

नैनी सेंट्रल जेल में ऑटोमेशन गेट और बैग स्कैनर की सुविधा है. साथ ही वीडियो कांफ़्रेंसिंग से भी पेशी की व्‍यवस्‍था है. यानी यहां कैदी जेल में रहकर भी वर्चुअली पेश हो सकते हैं. 

महिला कैदी और बच्‍चों के लिए सुविधा

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महिला कैदी और बच्‍चों के लिए सुविधा

इसके अलावा नैनी सेंट्रल जेल में रेन वाटर हार्वेस्टिंग, सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट, महिला कैदियों के बच्चों के लिए क्रेच की सुविधा है. 

कितनी लागत से बना?

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कितनी लागत से बना?

अंग्रेजों के बाद इस जेल का निर्माण उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम लिमिटेड ने कराया. इसकी लागत 173 करोड़ 33 लाख रुपये आई. 

अतीक जैसे माफ‍िया कैदी रहे

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अतीक जैसे माफ‍िया कैदी रहे

यूपी के सबसे बड़े माफ‍िया अतीक अहमद को इसी जेल में रखा गया था. बाद में 2019 में अतीक अहमद को नैनी सेंट्रल जेल से गुजरात के साबरमती जेल ट्रांसफर कर दिया गया था. 

शार्प शूटर भी बंद रहे

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शार्प शूटर भी बंद रहे

माफ‍िया अतीक अहमद के अलावा पूर्वांचल के शार्प शूटर भी बंद रहे. इसमें सुजीत बेलवा और राजेश यादव शामिल हैं. दोनों के बीच जेल के अंदर ही गैंगवार होने की खबरें थीं. 

डिस्क्लेमर

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डिस्क्लेमर

लेख में दी गई ये जानकारी सामान्य स्रोतों से इकट्ठा की गई है. इसकी प्रामाणिकता की जिम्मेदारी हमारी नहीं है. एआई के काल्पनिक चित्रण का जी यूपीयूके हूबहू समान होने का दावा या पुष्टि नहीं करता.