Haryana: हरियाणा में सिखों के 20 लाख वोट पर क्यों नजर गड़ाए हैं राजनीतिक दल, HSGPC चुनाव से होगी तस्वीर साफ!
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Haryana: हरियाणा में सिखों के 20 लाख वोट पर क्यों नजर गड़ाए हैं राजनीतिक दल, HSGPC चुनाव से होगी तस्वीर साफ!

Haryana News: हरियाणा सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (HSGPC) आने वाले चुनाव की तैयारी में जुट चुकी है. ऐसा माना जा रहा है कि कमेटी के चुनाव के बाद सिखों के 15 से 20 लाख वोट प्रदेश में कांग्रेस और बीजेपी दोनों के लिए ही निर्णायक साबित हो सकते हैं. 

Haryana: हरियाणा में सिखों के 20 लाख वोट पर क्यों नजर गड़ाए हैं राजनीतिक दल, HSGPC चुनाव से होगी तस्वीर साफ!

Haryana News: 23 वर्ष के लंबे संघर्ष और 2020 में सुप्रीम कोर्ट के एक अहम फैसले के बाद आखिरकार हरियाणा को अलग से सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी की मान्यता मिलने के बाद हरियाणा सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (HSGPC) आने वाले चुनाव की तैयारी में जुट चुकी है. ऐसा माना जा रहा है कि कमेटी के चुनाव के बाद सिखों के 15 से 20 लाख वोट प्रदेश में कांग्रेस और बीजेपी दोनों के लिए ही निर्णायक साबित हो सकते हैं. ये बात तो साफ है कि सिख वोट बैंक राजनीति पर गहरा प्रभाव डालेगा. 

दरअसल हरियाणा में तीन दर्जन से अधिक सिख बाहुल्य विधानसभा सीटें हैं. करनाल, कुरुक्षेत्र, अंबाला और सिरसा लोकसभा सीटों सिख वोटर चुनाव में जीत-हार में निर्णायक भूमिका निभाते हैं.

कमेटी की बैठक में कई अहम फैसले
पिछले दिनों कुरुक्षेत्र में हुई हरियाणा सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी की बैठक में कई अहम फैसले लिए गए, जिसमें एक ये भी था कि कमेटी दरबार साहिब में मत्था टेकने के बाद काम शुरू करेगी. इसके साथ अकाल तख्त की 5 सदस्यों की टीम से बैठकों को शुरू करने की विनती करेगी, क्योंकि अकाल तख्त द्वारा सभी बैठकों पर रोक लगाने के बाद एचएसजीपीसी की बैठक नहीं हो रही है. फिलहाल एचएसजीपीसी आने वाले चुनाव की तैयारी में जुट चुकी है. इसके लिए हरियाणा के सभी सिखों से अपील की जा रही है कि 30 सितंबर तक जल्द से जल्द अपनी सदस्यता के फॉर्म भर लें. 

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गुरुद्वारों की सेवा और जिम्मेदारी के लिए 2000 में हरियाणा सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी का कार्य सरदार जगदीश सिंह झींडा ने गुरदास सिंह नलवी व सरदार मोहनजीत सिंह समेत अन्य साथियों के साथ शुरू किया था. एचएसजीपीसी के नवनियुक्त सह सचिव सरदार मोहनजीत सिंह ने बताया कि 2014 में कांग्रेस सरकार के समय भूपेंद्र सिंह हुड्डा मुख्यमंत्री थे. उन्होंने इस एक्ट को बनवाया था. 

हुड्डा की अगुवाई में मिला था सेवा करने का मौका 
उन्होंने कहा कि अकाल तख्त व शिरोमणि कमेटी के पास हरियाणा को अलग से गुरुद्वारों की सेवा संभाल के लिए कहा गया था, लेकिन किसी ने एक नहीं सुनी थी. इसके बाद इस एक्ट को शिरोमणि अकाली दल ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी. कोर्ट ने 2020 में हरियाणा के हित में फैसला सुनाते हुए अलग से हरियाणा सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी को मान्यता दे दी. उन्होंने बताया कि 2014 में भी कमेटी ने भूपेंद्र सिंह हुड्डा की अगुवाई में सेवा करने का मौका मिला था और 2022 में भी सह सचिव के रूप में कार्य करने का मौका मिला. उन्होंने कहा कि हरियाणा के सिखों ने इसके लिए एक लंबा संघर्ष किया है. सभी ने निजी स्वार्थ से ऊपर उठकर हरियाणा के सिखों की भलाई के लिए कार्य किया है. सरदार मोहनजीत सिंह ने कहा कि प्रबंधक कमेटी के चुनाव के बाद हरियाणा में बड़ा राजनीतिक बदलाव भी आएगा. उन्होंने कहा कि पिछले काफी समय से हरियाणा में सिखों की लीडरशिप में कमी थी, लेकिन अब नई लीडरशिप पैदा होने के साथ राजनीतिक लाभ भी मिलेगा. 

मोहनजीत सिंह ने कहा कि अकाल तख्त ने सभी बैठकों पर रोक लगा रखी है. दरबार साहिब में मत्था टेकने के बाद काम शुरू करेंगे और अकाल तख्त द्वारा पांच सदस्य कमेटी से बातचीत करने के बाद उनसे बैठकों पर रोक हटाने की विनती करेंगे। उन्होंने कहा कि  60 साल पहले मिलना चाहिए था, जब हरियाणा अलग हुआ था, लेकिन अब जो हरियाणा सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी का जो विवाद चल रहा है, इसकी जिम्मेदारी हम सब की हैं, क्योंकि  23 वर्षों के संघर्ष के बाद हरियाणा को अलग से सेवा करने का मौका मिला है. उन्होंने कहा कि सरदार भूपेंद्र सिंह को प्रधान पद की जिम्मेदारी सौंप गई है, उनकी अध्यक्षता में एक अच्छा प्लेटफार्म तैयार कर काम करेंगे.

सरदार मोहन जीत सिंह ने हरियाणा के सिखों को जल्द से जल्द फॉर्म भर कमेटी का मेंबर बनने की अपील करते हुए कहा कि केवल वे ही इस कमेटी के सदस्य बन सकते हैं, जो केशधारी हो व केश न कटवाता हो. इसके अलावा मुस्लिमों के तरीके से बनाया गया मांस खाने वाला इस कमेटी का सदस्य नहीं बन सकता.  

हरियाणा के हर वार्ड में बनाए जाएंगे सिखों के वोट 
मोहनजीत ने कहा कि हरियाणा सरकार द्वारा प्रदेश में कमेटी के 40 वार्ड बनाए गए हैं. हर वार्ड में लगभग 35 से 40 हजार वोट सिखों के बनाए जाएंगे, जिसमें पानीपत जिले को वार्ड नंबर 23  बनाया गया है. इसमे लगभग 40000 वोट बनने की उम्मीद है.

Input- Rakesh Bhayana