नई दिल्लीः दिल्ली में शुक्रवार को लगातार पांचवें दिन हवा प्रदूषित रही. शुक्रवार सुबह दिल्ली में वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 256 दर्ज किया गया और इसके और बढ़ने की आशंका है. इसकी कई वजहें हैं. पंजाब और हरियाणा में पराली जलाई जा रही है. पंजाब में तो गुरुवार को इस सीजन की सबसे ज्यादा पराली जलाई गई. वहीं दशहरे से कुछ-कुछ पटाखे फोड़ने के मामले भी सामने आ रहे हैं जो दिवाली तक जारी रहेंगे. ऐसे में दिल्ली-एनसीआर वालों के लिए सांसों का आपातकाल लगने की आशंका बढ़ गई है.
पंजाब में गुरुवार को सबसे ज्यादा जगह जली पराली
पंजाब रिमोट सेंसिंग सेंटर के डेटा के अनुसार, पंजाब में गुरुवार को सबसे ज्यादा 589 जगहें पराली जलाने के मामले सामने आए. ये इस सीजन में सबसे ज्यादा है और राज्य में पराली जलाने के कुल मामले 3293 हो गए हैं. वहीं हरियाणा ने इसे लेकर एक नासा की एक तस्वीर शेयर की है, जिसे लेकर दावा किया कि 25 और 26 अक्टूबर को पंजाब में हरियाणा के मुकाबले दोगुनी जगह पराली जलाई गई है.
Haryana government releases images it claims are from NASA showing more than double stubble burning incidents in Punjab as compared to Haryana on October 25&26 pic.twitter.com/oaU09XenHV
— ANI (@ANI) October 27, 2023
पराली जलाने की घटनाएं कम हुई हैं लेकिन खत्म नहीं
वहीं हरियाणा में 15 सितंबर से 24 अक्टूबर के बीच 813 जगह पराली जलाने के मामले सामने आए हैं. हालांकि दोनों ही राज्यों में इस साल पराली जलाने के मामले कम हुए हैं लेकिन अभी भी पराली जलाई जा रही है जिसे लेकर विशेषज्ञों का मानना है कि इससे दिल्ली-एनसीआर में हवा प्रदूषित होती है. इसके अलावा तापमान में गिरावट, हवा की रफ्तार कम होने, पटाखे जलाने, वाहनों का धुआं और निर्माण कार्य के चलते उड़ने वाली धूल से भी प्रदूषण बढ़ता है.
कल हवा के और खराब होने की आशंका
दिल्ली में शुक्रवार को कई इलाकों में एक्यूआई 'बहुत खराब' श्रेणी में दर्ज किया गया. दिल्ली का 24 घंटे का औसत एक्यूआई बृहस्पतिवार शाम चार बजे 256, बुधवार को 243 और मंगलवार को 220 था. दिल्ली के लिए केंद्र की वायु गुणवत्ता पूर्वानुमान प्रणाली के अनुसार राष्ट्रीय राजधानी की वायु गुणवत्ता शनिवार को 'बेहद खराब' श्रेणी में पहुंचने की आशंका है.
दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति के विश्लेषण के अनुसार, एक नवंबर से 15 नवंबर तक राजधानी में प्रदूषण शीर्ष पर पहुंच जाता है जब पंजाब और हरियाणा में पराली जलाने की घटनाएं शिखर पर पहुंच जाती हैं.
प्रदूषण रोकने के लिए दिल्ली सरकार की तैयारी
वहीं दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने कहा कि सरकार ने राष्ट्रीय राजधानी में मौजूदा, सर्वाधिक प्रदूषित 13 स्थानों (प्रदूषण हॉटस्पॉट) के अलावा आठ और ऐसे स्थानों की पहचान की है. प्रदूषण के स्रोतों की जांच के लिए वहां विशेष टीम तैनात की जाएंगी.
उन्होंने कहा कि सरकार ने शहर में धूल प्रदूषण को रोकने के लिए रासायनिक पाउडर का इस्तेमाल करने का भी निर्णय लिया गया है. पाउडर में धूल दबाने वाले कैल्शियम क्लोराइड, मैग्नीशियम क्लोराइड, लिग्नोसल्फोनेट्स और विभिन्न पॉलीमर जैसे रासायनिक तत्व शामिल हो सकते हैं, जो महीन धूल कणों को भारी कर हवा में फैलने से रोकते हैं.
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