हरियाणा में बारिश किसानों के लिए परेशानी का सबब बन गई है. यहां पहले ही किसान सरसों के MSP पर न बेचने की वजह से परेशान थे. वहीं अब बारिश के कारण फसल में नमी और बढ़ गई है.
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नवीन शर्मा/भिवानी: भिवानी के बवानी खेड़ा मे सरसों की फसल को लेकर किसान पहुंच रहे है. वहीं 15 दिनों के बाद भी अभी तक बवानी खेड़ा में कोई खरीद नहीं हुई है. बवानी खेड़ा में सरकारी खरीद को तो छोड़ो प्राइवेट खरीद भी नहीं हो पाई है. यहां पर आने वाला किसान परेशान हो गया है. उनका कहना है कि हम सूखी फसल लेकर आए थे. यहां कोई खरीदार ही नहीं है. अभी तक कोई भी खरीद नहीं हुई है और बारिश हो रही है. उसके बाद इसमें नमी बढ़ गई है. अब इसका जिम्मेदार कौन होगा.
भिवानी के बवानी खेड़ा की मंडी में बारिश आ जाने के बाद सरसों की फसल भीग चुकी है और पानी मंडी में चारों तरफ खड़ा है. भिवानी के किसानों ने बताया कि सरसों मंडी में लेकर आए हैं, परन्तु कोई भी सरकारी खरीद नहीं हो रही है. सरसों की खरीद को लेकर सरकार के बहुत दावे हैं, लेकिन हैफेड द्वारा अभी तक खरीद नहीं की जा रही है. हैफेड ने कंडीशन लगा रखी है कि 8 प्रतिशत से कम नमी वाली सरसों ही खरीदेंगे और प्रति क्विंटल 38 केजी तेल निकलेगा. उसी सरसों को हैफेड खरीदेगी.
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पिछले दिनों से बारिश के बाद सरसों की फसल में नमी आ गई है. किसानों ने बताया कि किसान समय पर बीज बोता है, जिससे फसल तैयार होती है. हैफेड ने कंडीशन लगा रखी है कि 8 प्रतिशत से कम नमी वाली सरसों ही खरीदेंगे और प्रति क्विंटल 38 केजी तेल निकलेगा. अब उसमें कितना तेल होगा, इस बात का निर्धारण किसान नहीं कर सकता. गौरतलब है कि सरकार के दावों के बावजूद भी फिलहाल भिवानी अनाज मंडी में न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर सरसों की खरीद नहीं पा रही है.