नई दिल्ली: सरहद पर दुश्मन की चुनौती हो, शूरवीरों के शौर्य का सम्मान हो या फिर महामारी के खिलाफ महाजंग हो, प्रधानमंत्री मोदी हर चुनौती से निपटना बखूबी जानते हैं तभी तो आज वो दुनिया के सबसे ज्यादा लोकप्रिय नेता बनकर उभरे हैं, देश में जब कोरोना से दहशत का माहौल था तब उन्होंने कुशल नेतृत्व का परिचय दिया, महामारी के बीच सरहद पर चीन और पाकिस्तान ने साजिश रची तब भी पीएम ने अग्रिम मोर्चे पर जाकर सेना का मनोबल बढ़ाया और बताया कि आंख दिखाने वालों को सबक सिखाना हिंदुस्तान जानता है.
आज देश की सेनाएं हर तरह की ताकत से लैस हैं, एयरफोर्स के पास राफेल का पावर है तो थलसेना भी आधुनिक हथियारों से लैस है, समंदर में अमेरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया के साथ मिलकर भारत ने जिस तरह से चीन की घेराबंदी की है, उससे साफ है कि मोदी कितनी मजबूत इच्छा शक्ति वाले नेता हैं.
मोदी मंत्र से कोरोना पर विजय
ये प्रधानमंत्री मोदी की दूर दृष्टि और कुशल नेतृत्व का ही नतीजा है कि आज कोरोना भी कंट्रोल में है और सरहद पर दुश्मन भी, मोदी सरकार ने एक साथ कई मोर्चों पर जीत दर्ज की है, मोदी सरकार ने जिस तरह से वायरस के खिलाफ जंग लड़ी है उसकी चर्चा पूरी दुनिया में हो रही है. दुनिया जहां एक दूसरे का मुंह ताक रही थी वहीं मोदी ने आत्मनिर्भर भारत का मंत्र दिया और वायरस से लड़ने का हर हथियार देश में तैयार किया.
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अमेरिका और ब्रिटेन में एक बार फिर वायरस का तांडव है लेकिन भारत में स्थिति नियंत्रण में है और अब वैक्सीन भी आ चुकी है. कोविशील्ड के बाद कोवैक्सीन को भी इमरजेंसी इस्तेमाल की इजाजत मिल गई है. GALLUP के सर्वे में 51 फीसदी भारतीयों ने पीएण मोदी की कोविड रणनीति को सही माना है.
मेड इन इंडिया से मेड फॉर वर्ल्ड तक
पीएम मोदी ने पहले मेड इन इंडिया का नारा दिया था, ताकि विदेशों पर निर्भरता कम हो, इसके बाद आत्मनिर्भर भारत का लक्ष्य तय किया, तमाम चुनौतियों के बावजूद कोरोना के खिलाफ आज हम दुनिया में सबसे बेहतर तरीके से लड़े हैं, देश में आज पर्याप्त संसाधन, अपनी वैक्सीन और लैब मौजूद हैं। दुनिया यूं ही मोदी के मैजिक की मुरीद नहीं है, कोरोना पर दुनिया के मुकाबले भारत के आंकड़े देख लीजिए.
भारत में प्रति 10 लाख आबादी में 7,408 लोग संक्रमित हुए
जबकि यूएस में 56 हजार 879 लोग
फ्रांस में 38 हजार 550 लोग
और रूस में 10 लाख आबादी में 21,091 लोग संक्रमित हुए
इसी तरह अगर मृत्यु दर की बात करें तो
भारत में प्रति दस लाख में मृत्युदर 107 है जबकि
इटली में 1,189, यूके में 1,042, और रूस में 378 की मौत हुई
भारत में कोरोना से रिकवरी रेट सबसे ज्यादा 95.92 % और मृत्यु दर सबसे कम 1.45% है
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पीएम मोदी ने कोरोना के खिलाफ शानदार रणनीति पहले उन्होंने देश को महामारी के खिलाफ तैयार किया, फिर वायरस से निपटने के लिए जरूरी संसाधन जुटाए दूसरे देशों से हाथ फैलाने की वजह उन्होंने आपदा में अवसर का मंत्र दिया और इंडस्ट्री को भी ताकत दी. ये आत्मनिर्भर भारत के मोदी संदेश का ही नतीजा है कि आज देश में कोरोना से लड़ने के लिए पर्यात संसाधन मौजूद हैं. पीएम ने पहले कहा कि जब तक दवाई नहीं तब तक ढिलाई नहीं और जब 2021 में वैक्सीन आ गई तो उन्होंने कहा कि दवाई भी और कड़ाई भी..
दुनिया ने माना मोदी का लोहा
कोरोना संकट ने देश की अर्थव्यवस्था की कमर तोड़ दी लेकिन मोदी सरकार की नीतियों की वजह से एक बार फिर अर्थव्यवस्था पटरी पर है दिसंबर महीने में जीएसटी का शानदार कलेक्शन और नई ऊंचाइयां छू रहा शेयर मार्केट इसकी तस्दीक कर रहे हैं, दूसरी तरफ विदेशी मोर्चे से लेकर सैन्य ताकत के क्षेत्र में भी देश ने बड़ी उपलब्धि हासिल की है, कश्मीर से आर्टिकल 370 हटाने का ऐतिहासिक फैसला हो या फिर चीन और पाकिस्तान को वैश्विक मोर्चे पर घेराबंदी हो, हर चुनौती के खिलाफ पीएम मोदी मजबूती से खड़े रहे हैं, तभी दुनिया कर रही है मोदी है तो मुमकिन है.
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